कोरोना के कारण कई शहरों में फिर लॉकडाउन लगाया गया है। इस कारण सफारा बाजार में सोने की मांग में कमी आई है। इसी का नतीजा है कि बीते 2 दिनों में सोना 202 रुपए सस्ता होकर 46,352 पर आ गया है। अगस्त 2020 में सोना अपने ऑलटाइम हाई 56 हजार 200 रुपए पर पहुंच गया था। लेकिन अगस्त से लेकर अब तक सोना 10 हजार रुपए सस्ता हो गया है। ऐसे में आपके लिए सोना खरीदने का ये सही समय हो सकता है। एक्सपर्ट्स के अनुसार आने वाले दिनों में सोना महंगा हो सकता है।
कोरोना के कारण घरेलू मांग में आ सकती है कमी लेकिन इसमें निवेश बढ़ेगा
IIFL सिक्योरिटीज के वाइस प्रेसिडेंट (कमोडिटी एंड करेंसी) अनुज गुप्ता कहते हैं कि लॉकडाउन के कारण ज्वैलरी की डिमांड में कमी आ सकती है लेकिन कोरोना में सोने में निवेश बढ़ेगा। निवेशक गोल्ड बॉन्ड, गोल्ड म्यूचुअल फंड और ETF में निवेश करेंगे। इससे सोने की मांग और कीमत दोनों बढ़ेंगी। हालांकि अनुज गुप्ता के गोल्ड में आपके कुल निवेश का 10 से 20% ही निवेश करना चाहिए। ज्वैलरी खरीदने को निवेश नहीं माना जाता इसे आप अपनी जरूरत के हिसाब से खरीद सकते हैं।
कोरोना और डॉलर की मजबूती का सोने को मिलेगा फायदा
अनुज गुप्ता कहते हैं कि अभी कोराेना के कारण जिस तरह का माहौल बना हुआ है ये सोने की कीमत को सपोर्ट करेगा। अंतरराष्ट्रीय बाजार में भी सोना महंगा होने लगा है। सोने की कीमत 1,729 अमेरिकी डॉलर प्रति औंस के करीब चल रहा है। इसके अलावा रुपए के मुकाबले डॉलर भी मजबूत हुआ है। इससे भी सोने को सपोर्ट मिलता है।
इसके बाजार में अस्थिरता या अनिश्चितता से सोना महंगा होता है। अभी भी कोरोना के कारण दुनियाभर में अनिश्चितता का माहौल बना हुआ है। इसके शेयर बाजार में ज्यादा उतार-चढ़ाव होता है तो आमतौर पर सोने के दाम बढ़ते हैं। माना जाता है कि इस दौरान निवेशक शेयरों से पैसा निकालकर सोने में निवेश करते हैं। इससे भी सोने के दाम बढ़ने लगते हैं। इसी को देखते हुए इस साल के आखिर तक सोने के 50 हजार से ऊपर जाने की संभवना है।
सोना स्थिर और अच्छे रिटर्न के लिए बेहतर विकल्प
अनुज गुप्ता के अनुसार आप लंबे समय के लिए सोने में निवेश कर सकते हैं। इस पर कीमतों में मौजूदा उतार-चढ़ाव का असर नहीं पड़ेगा। सोने की कीमत घटती भी हैं तो, कुछ समय बाद फिर बढ़ जाएगी।
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