गूगल, अमेजन और माइक्रोसॉफ्ट जैसी बड़ी टेक कंपनियों के बाद अब इंडिया की दिग्गज IT कंपनी इंफोसिस ने भी छंटनी की है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, इंफोसिस ने इंटरनल फ्रेशर असेसमेंट (FA) टेस्ट को पास करने में फेल होने के बाद सैकड़ों नए फ्रेशर एम्प्लॉइज को कंपनी से बाहर कर दिया है।
अगस्त 2022 में कंपनी में शामिल हुए एक फ्रेशर ने बिजनेस टुडे को बताया, 'मैंने पिछले साल अगस्त में इंफोसिस में काम करना शुरू किया था और मुझे SAP ABAP स्ट्रीम के लिए ट्रेनिंग दी गई थी। मेरी टीम के 150 में से केवल 60 लोगों ने FA एग्जाम पास किया था, बाकी हम सभी को 2 हफ्ते पहले टर्मिनेट कर दिया गया था। पिछले बैच (जुलाई 2022 में ऑनबोर्ड किए गए फ्रेशर्स) के 150 फ्रेशर्स में से टेस्ट में फेल होने के बाद लगभग 85 फ्रेशर्स को टर्मिनेट किया गया था।
इंफोसिस ने 600 एम्प्लॉइज को नौकरी से निकाला
सूत्रों का दावा है कि इंफोसिस ने इंटरनल टेस्ट में फेल होने पर 600 एम्प्लॉइज को नौकरी से निकाल दिया गया है। दो हफ्ते पहले, FA टेस्ट में फेल होने के बाद 208 फ्रेशर्स को निकाल दिया गया था। पिछले कुछ महीनों में कुल मिलाकर लगभग 600 फ्रेशर्स को FA टेस्ट में फेल होने के बाद नौकरी से निकाल दिया गया है। हालांकि, इस खबर पर अब तक कंपनी की तरफ से कोई बयान नहीं आया है।
निकाले गए कर्मचारियों का दावा है कि जुलाई 2022 से पहले कंपनी में शामिल होने वाले नए लोगों को इंटरनल टेस्ट में फेल होने के बाद टर्मिनेट नहीं किया गया है। वहीं कंपनी के एक रिप्रेजेंटेटिव का कहना है कि इंटरनल टेस्ट में फेल होने के बाद कर्मचारियों को हमेशा टर्मिनेट किया गया है।
2 हफ्ते पहले विप्रो ने 800 फ्रेशर्स को निकाला था
यह डेवलपमेंट ऑफर लेटर प्राप्त करने के बाद 8 महीने से ज्यादा समय से कंपनी में शामिल होने की प्रतीक्षा कर रहे सैकड़ों फ्रेशर्स की पृष्ठभूमि में आया है। बता दें कि 2 हफ्ते पहले खबर आई थी कि विप्रो ने इंटरनल टेस्ट में फेल होने वाले 800 फ्रेशर्स को निकाल दिया है। हालांकि, कंपनी का कहना है कि उसने 452 कर्मचारियों को टर्मिनेट किया है।
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