रायपुर. पिछले तीन-तीन विधानसभा और लोकसभा चुनाव के बाद आयोग पहली बार चुनाव की पिक्टोरियल आर्काइव बुक प्रकाशित करने जा रहा है। भास्कर रिपोर्टर अंबु शर्मा की पहले दौर के मतदान की खींची गई तस्वीर इस आर्काइव बुक का कवर बनेगी।
नक्सल पीड़ित इलाकों में मतदान के दौरान भास्कर संवाददाता ने एक महिला की तस्वीर खींची थी, जो अमिट स्याही का निशान पत्थर से मिटा रही थी। भास्कर की इस तस्वीर ने पूरे देश का ध्यान अपनी ओर खींचा। और अभी भी सोशल मीडिया में ये तस्वीर खूब वायरल भी हो रही है। यही नहीं इस तस्वीर की तारीफ आयोग के बड़े अधिकारियों ने भी की है।
दरअसल, प्रदेश के चुनाव इतिहास में ये पहला मौका है जब निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय की ओर से इस पूरे विधानसभा चुनाव में वोटिंग और चुनाव की दूसरी तमाम गतिविधियों से जुड़ी चुनिंदा तस्वीरों को संजोने की कवायद की जा रही है। 11 दिसंबर को नतीजे के ऐलान के बाद इस किताब में प्रकाशित होने वाली तस्वीरों के चयन के लिए सीईओ सुब्रत साहू की अगुवाई में एक टीम बैठक करेगी। इस किताब के जरिए छत्तीसगढ़ में चुनाव की कामयाबी की कहानी बयां की जाएगी।
अब तक रिकॉर्ड बुक छपती रही
हर चुनाव में निर्वाचन पदाधिकारी कार्यालय की ओर से मतदान और इसके आकंड़ों से जुड़े तमाम विश्लेषण की रिकॉर्ड बुक छापी जाती रही है। जिसमें पूरे चुनाव का आंकड़ों के आधार पर विश्लेषण होता है। पिछले चुनाव के रिकॉर्ड भी इसमें रहते हैं। मिली जानकारी के मुताबिक इस बार पिक्टोरियल बुक के साथ सक्सेस स्टोरीज की भी किताब छापी जा सकती है। हालांकि इस पर फैसला नतीजों के बाद ही होगा।
बस्तर से सरगुजा तक की चुनावी तस्वीरें होंगी शामिल
विधानसभा चुनाव 2018 की तस्वीरों का एक डिजिटल आर्काइव भी बनाया जाएगा। इसमें इन तस्वीरों को रखा जाएगा। आपको बता दें अविभाज्य मध्यप्रदेश के दौर से प्रदेश के पुराने चुनाव की तस्वीरों का रिकॉर्ड अभी भी एमपी में ही है। इसमें ज्यादातर तस्वीरें कहां है कहा नहीं जा सकता। 2013 के चुनाव में भी तस्वीरों को आर्काइव करने का प्लान बना था। लेकिन बाद में ये नहीं बन पाया था। इसलिए इस बार अभी से इसके लिए पहल की जा रही है।
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