पाएं अपने शहर की ताज़ा ख़बरें और फ्री ई-पेपर
Install AppAds से है परेशान? बिना Ads खबरों के लिए इनस्टॉल करें दैनिक भास्कर ऐप
भारत में कोरोना वैक्सीन का इंतजार खत्म होने वाला है। रूस और चीन के बाद UK, बहरीन, अमेरिका, यूरोपीय संघ समेत कई देशों ने भी अपने यहां वैक्सीन सिक्योर कर ली है। वहीं, भारत में भी तीन वैक्सीन ने अपने लिए इमरजेंसी अप्रूवल मांगा है। इस पर सब्जेक्ट एक्सपर्ट कमेटी की एक बैठक भी हो चुकी है। कंपनियों से कुछ डेटा और मांगा गया है। अब सरकार कह रही है कि कुछ ही हफ्तों में इमरजेंसी अप्रूवल की प्रक्रिया पूरी हो जाएगी। भारत सरकार का दावा है कि जनवरी में वैक्सीनेशन शुरू हो जाएगा। शुरुआत प्रायरिटी ग्रुप्स से होगी। उसके बाद धीरे-धीरे बाकी लोगों को भी वैक्सीनेट किया जाएगा।
सिर्फ अप्रूवल का इंतजार, भारत भी कोरोना वैक्सीन लगाने के लिए हो रहा है तैयार; जानिए कैसे?
भारत में इमरजेंसी अप्रूवल मांगने वालों में अमेरिकी कंपनी फाइजर भी शामिल है, जिसने जर्मन सहयोगी बायोएनटेक के बनाए mRNA वैक्सीन बनाई है। फाइजर के ट्रायल्स भारत में नहीं हुए हैं। वहीं, 7 दिसंबर को सीरम इंस्टिट्यूट ऑफ इंडिया (SII) और भारत बायोटेक ने भी अपने-अपने वैक्सीन के लिए इमरजेंसी अप्रूवल मांगा है। दोनों के ही वैक्सीन भारत में फेज-3 ट्रायल्स में है। SII ने ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी /एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन का प्रोडक्शन करने का करार किया है। इसके UK और ब्राजील में चले ट्रायल्स के नतीजे आ गए हैं।
फाइजर की वैक्सीन को अप्रूवल देने से पहले लोकल ट्रायल्स के लिए कह सकता है भारत
भारत सरकार के वैक्सीन लैंडस्केप के मुताबिक, इस समय भारत में 9 वैक्सीन पर काम चल रहा है। इसमें तीन वैक्सीन प्री-क्लिनिकल स्टेज यानी फिलहाल लैब्स में हैं। इसके अलावा 6 वैक्सीन क्लिनिकल ट्रायल्स के किसी न किसी फेज में हैं। आइए जानते हैं, भारत में बन रहे वैक्सीन के बारे में...
There are multiple vaccine candidates in different stages of development and some of them may get licensed in next few week. Vaccines require 2-3 doses, 3 to 4 weeks apart. Even after vaccination, #COVID precautions must be undertaken: Secretary, @MoHFW_INDIA pic.twitter.com/ICV8rzMjtM
— PIB India (@PIB_India) December 8, 2020
1. कोवीशील्डः SII के इमरजेंसी अप्रूवल के आवेदन पर फैसला जल्द
किसने बनाईः ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी और एस्ट्राजेनेका (ब्रिटेन) ने मिलकर इसे बनाया है।
स्टेटसः एस्ट्राजेनेका ने 23 नवंबर को इसके फेज-3 क्लीनिकल ट्रायल्स के नतीजे घोषित किए। इसके मुताबिक, जब एक हाफ और एक फुल डोज दिया गया तो वह 90% तक असरदार रही। वहीं, दो फुल डोज देने पर 62% असरदार रही। भारत में पुणे के SII ने इस वैक्सीन के डोज मैन्यूफैक्चर करने का करार किया है।
कब मिलेगी और कीमत: पूनावाला की कंपनी ने 7 दिसंबर को इस वैक्सीन के इमरजेंसी अप्रूवल के लिए अप्लाई किया है। जल्द ही इस पर सरकार फैसला लेगी। फरवरी तक करीब एक करोड़ वैक्सीन उपलब्ध हो सकती हैं। सरकार को 250 रुपए और आम भारतीयों को 500 रुपए में वैक्सीन का एक डोज मिलेगा।
2. कोवैक्सीनः भारत बायोटेक ने भी मांगा है इमरजेंसी अप्रूवल
किसने बनाईः हैदराबाद की कंपनी भारत बायोटेक ने नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ वायरोलॉजी (NIV) और इंडियन काउंसिल ऑफ मेडिकल रिसर्च (ICMR) के साथ मिलकर वैक्सीन बनाई है और नाम रखा है- कोवैक्सीन।
स्टेटसः इस वैक्सीन के दो फेज के ट्रायल्स हो चुके हैं और अब तक यह वैक्सीन असरदार रही है। किसी भी वॉलंटियर में गंभीर साइड-इफेक्ट नहीं दिखाई दिया है। कंपनी ने नवंबर में ही 25 जगहों पर 25,800 वॉलंटियर्स पर इसके फेज-3 ट्रायल्स शुरू किए हैं। कंपनी ने 7 दिसंबर को वैक्सीन के लिए इमरजेंसी अप्रूवल मांगा है।
कब मिलेगीः सबकुछ टाइमलाइन के मुताबिक हुआ तो जनवरी के बाद यह वैक्सीन मिलने लगेगी। अब तक कंपनी ने यह नहीं बताया कि इसकी कीमत क्या होगी।
3. स्पुतनिक V: डॉ रेड्डीज लैब्स ने शुरू किए फेज-2/3 ट्रायल्स
किसने बनाईः रशियन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट फंड की मदद से रूस के गामालेया रिसर्च इंस्टीट्यूट ने इस वैक्सीन को डेवलप किया है।
स्टेटसः डॉ. रेड्डीज लैबोरेटरीज लिमिटेड और रशियन डायरेक्ट इन्वेस्टमेंट फंड (RDIF) ने रूसी वैक्सीन स्पुतनिक V के भारत में 1 दिसंबर को फेज-2/3 क्लीनिकल ट्रायल्स शुरू किए हैं। नवंबर में RDIF ने स्पुतनिक के क्लिनिकल ट्रायल्स डेटा का दूसरा अंतरिम एनालिसिस पेश किया। इसके मुताबिक, वैक्सीन पहले डोज के 28 दिन बाद 91.4% असरदार रही और पहले डोज के 42 दिन बाद 95% असरदार रही।
कब मिलेगी और कीमतः फेज-2/3 ट्रायल्स में दो से तीन महीने का वक्त लग जाएगा। मार्च के बाद वैक्सीन अप्रूवल पा सकती है। इसके एक डोज की कीमत 700 रुपए के आसपास रहने का भरोसा कंपनी ने दिया है।
4. ZyCov-D: जायडस कैडिला की वैक्सीन फेज-3 में जाने को तैयार
किसने बनाईः अहमदाबाद की कंपनी जायडस कैडिला ने कोविड-19 से बचाने के लिए प्लास्मिड DNA वैक्सीन ZyCov-D बनाई है।
स्टेटसः इसके फेज-1 के क्लिनिकल ट्रायल्स का डेटा आ चुका है और इसने प्रॉमिसिंग रिजल्ट्स दिए हैं। डेटा सेफ्टी मॉनिटरिंग बोर्ड (DSMB) ने इसकी पुष्टि की है। इस समय फेज-2 ट्रायल्स चल रहे हैं, जिसके नतीजे जल्द ही घोषित किए जाएंगे। कंपनी का दावा है कि फेज-2 में भी रिजल्ट्स अच्छे रहे हैं।
कब मिलेगी और कीमतः 2021 की दूसरी तिमाही तक वैक्सीन बाजार में उपलब्ध कराने की तैयारी है। अब तक कंपनी ने यह नहीं बताया कि इसकी कीमत क्या होगी।
5. NVX-CoV2373: नोवावैक्स की वैक्सीन के फेज-3 ट्रायल्स शुरू करेगा SII
किसने बनाईः अमेरिकी कंपनी नोवावैक्स ने इसे प्रोटीन सब-यूनिट टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर बनाया है। इसे भारत में सीरम इंस्टिट्यूट ऑफ इंडिया (SII) बनाएगा।
स्टेटसः अमेरिका समेत कुछ अन्य देशों में इस वैक्सीन के फेज-3 ट्रायल्स चल रहे हैं। अब तक इसने एंटीबॉडी बनाने में सफलता हासिल की है। भारत में इस वैक्सीन के फेज-3 ट्रायल्स के आवेदन पर विचार हो रहा है।
कब मिलेगी और कीमतः सबकुछ ठीक रहा तो 2021 में यह वैक्सीन उपलब्ध हो जाएगी। वैसे, भारत में नतीजे आने से पहले ही यदि किसी बाहरी देश में फेज-3 ट्रायल्स के नतीजे आ गए तो उसके आधार पर सीरम इमरजेंसी अप्रूवल मांग सकती है। ऐसी ही मांग उसने ऑक्सफोर्ड/एस्ट्राजेनेका की वैक्सीन कोवीशील्ड के लिए भी की है।
6. बायोलॉजिकल E ने भी शुरू किए फेज-1/2 क्लिनिकल ट्रायल्स
किसने बनाईः अमेरिकी कंपनी डायनावैक्स टेक्नोलॉजी कॉर्पोरेशन और ह्यूस्टन के बेयलर कॉलेज ऑफ मेडिसिन ने मिलकर सबयूनिट वैक्सीन कैंडिडेट बनाया है।
स्टेटसः हैदराबाद की कंपनी बायोलॉजिकल E ने इस वैक्सीन के लिए करार किया है। नवंबर में ही कोविड-19 सबयूनिट वैक्सीन कैंडिडेट के भारत में फेज-1/2 क्लिनिकल ट्रायल्स शुरू करने के लिए ड्रग्स कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (DCGI) से मंजूरी हासिल की है। यदि वैक्सीन कारगर रहती है तो एक अरब डोज एक साल में बनाने की क्षमता है।
कब मिलेगी और कीमतः 2021 में जुलाई के बाद ही इस वैक्सीन के उपलब्ध रहने की उम्मीद है। अब तक कंपनी ने कीमत नहीं बताई है।
7. अभी लैब्स में ही है पुणे की जेनोवा फार्मा और HDT बायोटेक की वैक्सीन
किसने बनाईः अमेरिका के HDT बायोटेक कॉर्पोरेशन के साथ मिलकर पुणे की कंपनी जेनोवा बायोफार्मास्यूटिकल्स लिमिटेड ने mRNA वैक्सीन कैंडिडेट (HGCO19) डेवलप किया है।
स्टेटसः इस वैक्सीन ने चूहों और प्राइमेट मॉडल्स में सेफ्टी, इम्यूनोजेनेसिटी, न्यूट्रलाइजेशन एंटीबॉडी एक्टिविटी दिखाई है। अभी कंपनी ने अपने वैक्सीन के फेज-1/2 क्लिनिकल ट्रायल्स के लिए अप्लाई नहीं किया है।
कब मिलेगी और कीमतः फिलहाल इसके ह्यूमन ट्रायल्स शुरू नहीं हुए हैं। 2021 में जुलाई के बाद ही यह वैक्सीन उपलब्ध हो सकेगी। कीमत पर फैसला बाद में होगा।
8. इनएक्टिवेटेड रैबीज वेक्टर प्लेटफॉर्मः अमेरिकी यूनिवर्सिटी ने बनाई है वैक्सीन
किसने बनाईः अमेरिका की थॉमस जेफरसन यूनिवर्सिटी ने इस इनएक्टिवेटेड रैबीज वेक्टर प्लेटफॉर्म वैक्सीन को डेवलप किया है। इसे भारत में हैदराबाद की भारत बायोटेक कंपनी बनाएगी।
स्टेटसः इस वैक्सीन के फिलहाल प्री-क्लिनिकल ट्रायल्स चल रहे हैं। यह ट्रायल्स एडवांस स्टेज में है। उम्मीद है कि जल्द ही वैक्सीन ह्यूमन ट्रायल्स फेज में आएगी।
कब मिलेगी और कीमतः फिलहाल क्लिनिकल ट्रायल्स शुरू नहीं हुए हैं। ऐसे में समय और कीमत बता पाना नामुमकिन है।
9. अरबिंदो फार्मा की वैक्सीन इस समय प्री-क्लीनिकल स्टेज में
किसने बनाईः हैदराबाद की दवा कंपनी अरबिंदो फार्मा ने इस वैक्सीन को विकसित किया है।
स्टेटसः फिलहाल यह वैक्सीन प्री-क्लीनिकल स्टेज में है। यानी लैब्स में ही टेस्ट चल रहे हैं। वैसे, कंपनी ने बताया है कि हैदराबाद में कंपनी की वैक्सीन बनाने की फैक्ट्री मई में काम करना शुरू कर सकती है।
कब मिलेगी और कीमतः फिलहाल कुछ भी कहना संभव नहीं है।
पॉजिटिव- आज आप बहुत ही शांतिपूर्ण तरीके से अपने काम संपन्न करने में सक्षम रहेंगे। सभी का सहयोग रहेगा। सरकारी कार्यों में सफलता मिलेगी। घर के बड़े बुजुर्गों का मार्गदर्शन आपके लिए सुकून दायक रहेगा। न...
Copyright © 2020-21 DB Corp ltd., All Rights Reserved
This website follows the DNPA Code of Ethics.