अब तक सक्रिय सियासत से दूर रहीं उत्तर प्रदेश की बागडोर संभाल रही कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी विधानसभा चुनाव लड़ सकती हैं। यह बात उन्होंने खुद कही है। प्रियंका ने कहा कि पिछले एक माह से पार्टी के भीतर यह बात चल रही थी कि मुझे यूपी में चुनाव लड़ना चाहिए। प्रियंका कहां से लड़ेंगी यह फिलहाल तय नहीं है?
क्या योगी के सामने चुनाव लड़ेगीं? इस सवाल पर उनका कहना है कि नहीं, ऐसा जरूरी नहीं। उन्होंने स्पष्ट किया कि वह मुख्यमंत्री की उम्मीदवार नहीं है। उन्होंने एक प्रेस कांफ्रेंस में सवाल जवाब में सीएम चेहरा के सवाल पर कहा था कि आपको कोई और चेहरा दिखता है क्या? अब उन्होंने कहा कि इसका मतलब नेतृत्व से था, न कि मुख्यमंत्री की उम्मीदवारी से। वो बोलीं- मैं फिर स्पष्ट कर दूं कि मैं सीएम कैंडिडेट नहीं हूं।
उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव को लेकर प्रियंका गांधी अपना पूरा दमखम लगा रही हैं। उन्होंने यूपी में कांग्रेस की दशा और दिशा दोनों बदलने के लिए कई फार्मूलों पर काम किया। पहले प्रत्याशी बनाने में महिलाओं को 40 फीसदी आरक्षण की घोषणा की। फिर महिलाओं के लिए अलग से घोषणा पत्र लाईं।
प्रदेश के साढ़े सात करोड़ युवा वोटरों को साधने के लिए युवा घोषणा पत्र भी जारी किया है। बता दें कि कांग्रेस ने अब तक अपने 166 प्रत्याशियों के नाम दो सूचियों में जारी किए हैं, जिनमें से 117 चेहरे नए हैं। अब इन्हीं नए चेहरों के भरोसे चुनाव जीतने का फार्मूला सफल बनाने के लिए प्रियंका खुद भी चुनाव में उतरने का मन बना चुकी हैं।
चुनाव कहां से लड़ेंगी, ये बाद में तय करेंगी
युवा घोषणा पत्र जारी करने के दौरान जब प्रियंका से पूछा गया था कि यूपी चुनाव के लिए कांग्रेस का मुख्यमंत्री उम्मीदवार कौन होगा। तब उनका जवाब था कि आपको मेरे अलावा वहां कोई और चेहरा दिखता है क्या? प्रियंका के इस बयान के बाद कयास लगाए जा रहे थे कि वे कांग्रेस की ओर से यूपी में मुख्यमंत्री का चेहरा हैं। हालांकि, अब प्रियंका ने साफ कर दिया है कि वे मुख्यमंत्री नहीं बनेंगी, लेकिन चुनाव लड़ सकती हैं। कहां से लड़ेंगी, इसका फैसला अभी नहीं किया है।
जरूरत पड़ी तो किसी पार्टी को समर्थन पर विचार होगा
यूपी चुनाव में अगर कांग्रेस की सीटें इतनी नहीं आती कि वह सरकार बना सके तो किसी राजनीतिक दल को समर्थन देकर सरकार में शामिल होने को लेकर भी प्रियंका ने बयान दिया है। उन्होंने कहा है कि जब ऐसी परिस्थितियां आएंगी तब यह तय किया जाएगा कि समर्थन किसे देना है।
प्रियंका ने यह भी कहा है कि जिस पार्टी को समर्थन देकर सरकार बनाएंगी तो उनका एजेंडा महिलाओं और युवाओं के लिए कांग्रेस द्वारा बनाई गई योजना पर काम कराने का ही होगा। संभवत: समर्थन देने की यह महत्वपूर्ण शर्त भी हो सकती है।
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