देवगुरु बृहस्पति 5 नवंबर को सुबह 5:18 बजे वृश्चिक से धनु राशि में प्रवेश कर गए। जो 20 नवंबर 2020 तक इसी राशि में रहेंगे। बृहस्पति का यह राशि परिवर्तन एक साल बाद हो रहा है। 11 अक्टूबर 2018 से बृहस्पति अब तक वृश्चिक राशि में ही थे। ज्योतिषाचार्य गणना के अनुसार नवग्रहों में बृहस्पति बड़े और महत्वपूर्ण हैं। सुखद स्थिति यह है कि यह स्वयं के अधिपत्य वाली धनु राशि में 12 साल बाद प्रवेश कर रहे हैं, जिसके परिणाम विभिन्न क्षेत्रों में सकारात्मक दिखाई देंगे। खासकर धर्म, शिक्षा व विज्ञान के क्षेत्रों में कई बड़ी उपलब्धियां हासिल होंगी। अागामी 26 जुलाई से 30 अक्टूबर तक गुरु पूर्वाषाढ़ा नक्षत्र में भ्रमण करेगा, तब यह शांतिप्रद व अारोग्यवर्धक रहेगा। इसके बाद गुरु 14 सितंबर 2021 से 20 नवंबर तक मकर राशि में भ्रमण करेंगे। ऐसा संयोग 57 साल बाद है जब एक बार फिर बृहस्पति धनु राशि में, यहां शनि और केतु साथ है।
जानिए... आपकी राशि पर क्या होगा असर
मेष स्वस्थ्य अच्छा रहेगा, आर्थिक लाभ
वृषभ शारीरिक कष्ट, धन लाभ
मिथुन मांगलिक कार्य होंगे, स्वास्थ्य लाभ
कर्क विवाद की संभावना, स्थानांतरण के योग
सिंह खर्च बढ़ेगा, स्वास्थ्य पर ध्यान दें
कन्या वाहन से कष्ट, यात्रा अधिक
तुला भाइयों से संबंध सुधरेंगे, शुभ कार्य होंगे
वृश्चिक शत्रुओं से सावधानी, पैतृक संपति मिलने के योग
धनु लाभ के नए अवसर, रुके काम बनेंगे
मकर व्यय अधिक, स्वास्थ्य पर ध्यान दें
कुंभ अाए के स्रोत बढ़ेंगे, नए काम शुरू होंगे
मीन पराक्रम में वृद्धि, नए संबंध बनेंगे।
कई काम जो रुके हुए हैं वे हाेंगे पूरे
धनु राशि में पहले से ही शनि व केतु विराजमान हैं। इस राशि में इन 3 ग्रहों की युति रहेगी। इस कारण ये अधिक सक्रिय रहेंगे, परंतु मकर व वृश्चिक राशि के लोगों पर इसका सर्वाधिक प्रभाव पड़ेगा। गुरु का संबंध शिक्षा, धर्म व अध्यात्म से है। इन क्षेत्रों में कई रुके काम पूरे होंगे।