आषाढ़ महीने में आने वाले गुप्त नवरात्र की शुरुआत 30 जून से हो रही है। इस साल कोई तिथि कम नहीं रहेगी। इसलिए ये नवरात्रि पूरे 9 दिनों की रहेगी। गुरुवार को प्रतिपदा तिथि सूर्योदय व्यापिनी रहेगी। इस कारण इसी दिन से ही गुप्त नवरात्र की शुरुआत मानी जाएगी। इसके बाद 8 जुलाई को भड़ली नवमी पर गुप्त नवरात्र का आखिरी दिन रहेगा। इस नवरात्रि में खरीदारी और नई शुरुआत के लिए 8 शुभ मुहूर्त रहेंगे।
आठ दिन शुभ मुहूर्त
पुरी के ज्योतिषाचार्य डॉ. गणेश मिश्र बताते हैं कि आषाढ़ महीने में आने वाली गुप्त नवरात्रि में नई शुरुआत और खरीदारी करना शुभ होता है। इस बार नवरात्र में शुक्रवार को पुष्य नक्षत्र होने के साथ ही 2 सर्वार्थसिद्धि, 4 रवियोग, 1 त्रिपुष्कर, बुधादित्य और गजकेसरी राजयोग बनेंगे। इस तरह सिर्फ 3 जुलाई को छोड़कर पूरी नवरात्रि में खरीदारी और नए कामों की शुरुआत की जा सकेगी।
किसी दिन कौन सा शुभ योग
30 जून, गुरुवार: सर्वार्थसिद्धि योग
1 जुलाई, शुक्रवार: शुक्र पुष्य
2 जुलाई, शनिवार: रवियोग
4 जुलाई, सोमवार: रवियोग
5 जुलाई, मंगलवार: त्रिपुष्कर और रवियोग
6 जुलाई, बुधवार: सर्वार्थसिद्धि
7 जुलाई, गुरुवार: अष्टमी जया तिथि, शिवयोग बुधादित्य, गजकेसरी
8 जुलाई, शुक्रवार: रवियोग
स्वयंसिद्ध होते हैं गुप्त नवरात्र
डॉ. मिश्र के अनुसार साल में आने वाली दोनों गुप्त नवरात्रि अपने आप में सिद्ध होती हैं। यानी इन दिनों में किए गए काम, पूजा-पाठ, खरीदारी और नई शुरुआत करने से सफलता मिलती है। इन तिथियों में चंद्रमा की कलाएं बढ़ती हैं। चंद्रमा मन का स्वामी होता है। इसलिए इन नौ दिनों में पूरे उत्साह और अच्छे मन के साथ किए गए काम पूरे होते हैं।
अखंड नवरात्र होना शुभ
ये ऐसा विशेष समय होता है जब गृहस्थ और साधक कम समय में अपनी इच्छा अनुसार सिद्धि प्राप्त कर सकते हैं। इन दिनों मां दुर्गा की पूजा-उपासना की जाती है। ये नवरात्र तंत्र विद्या सीखने वाले और मंत्रों की सिद्धि चाहने वालों के लिए खास होती है। इस साल गुप्त नवरात्र पूरे नौ दिन की है। यानी अखंड नवरात्र जल्दी सफलता देने वाले माने गए हैं। गुप्त नवरात्रि में 10 महाविद्याओं की पूजा की जाती है। पं. मिश्र का कहना है कि गुप्त नवरात्र में प्रलय एवं संहार के देवी-देवता रूद्र और मां काली की भी पूजा की जाती है।
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