सिस्टम सोता रहा और दहेज की बलिवेदी पर एक और बेटी चढ़ गई। प्रेम विवाह के बाद दो लाख रुपए की मांग पर चौकीदार ससुर बहू को अपने घर में पनाह नहीं दे रहा था। जिसके लिए नवविवाहिता ने न सिर्फ पुलिस बल्कि सामाजिक स्तर से भी प्रयासरत थी। लेकिन इसमें वो सफल नहीं हो सकी। मंगलवार को उसकी लाख घर से बगल में फेंकी मिली। मायके से पहुंचे भाइयों का कहना है कि महिषी थाने के चौकीदार ससुर ने पत्नी और बेटों के मिलकर बहन की हत्या कर दी। मृतका की पहचान मधुबनी जिला के घोघरडीहा थाना क्षेत्र के जयपट्टी गांव निवासी रामचन्द्र पासवान की बेटी कामिनी (21 वर्ष) के रूप में हुई है। कामिनी ने 21 अक्टूबर 2021 को झंझारपुर कोर्ट में महिषी थाना के चौकीदारी गुरुदेव पासवान के पुत्र मनीष कुमार से शादी की थी। घटना के बाद से हत्या आरोपी चौकीदार का पूरा परिवार फरार है। इधर मधुबनी से पहुंचे मृतका के भाई ने महिषी थाना में आवेदन देकर चौकीदार गुरुदेव पासवान सहित बहनोई मनीष पासवान सहित उनके भाईयों और मां पर बहन की हत्या का आरोप लगाया है। बताया गया कि महिषी थाना क्षेत्र के पस्तवार गांव निवासी चौकीदार गुरुदेव पासवान के पुत्र मनीष और मधुबनी की कामिनी 4 साल से प्रेम प्रसंग में थे। मनीष एक रिश्तेदार की शादी में अपने गांव पस्तपार से घोघरडीहा के जयपट्टी गांव गया था। प्रेम की यह कहानी पूरे चार साल चली। फिर मंदिर और इसके बाद कोर्ट में शादी हो गयी। लेकिन उसे ससुराल में जगह नहीं मिल रही थी। इसको लेकर परेशान कामिनी अपने पति पर दबाब बनाती थी लेकिन पति मनीष अपने चौकीदार पिता के कहने पर दहेज के लिए लागातार दबाब बनाने लगा।
लव मैरिज के बाद मनीष ने सहरसा के गेस्ट हाउस में कई दिनों तक कामिनी को रखा था
शादी के बाद ससुराल आने पर कामिनी को ससुर व उसकी पत्नी सहित अन्य बेटों के साथ मिलकर पिटाई करता था और उसे कभी भी घर में नहीं रहने देता था। परेशान कामिनी अपनी व्यथा अपने माता पिता को कहती थी लेकिन कोई मदद नहीं मिल पा रही थी। पति मनीष उसे सहरसा के डी.बी. रोड स्थित एक गेस्ट हाउस में कई दिनों तक रखा। लेकिन चौकीदार बहू को बिना 2 लाख दहेज लाए घर में रखने के लिए तैयार नहीं था।
महिषी थाने ने नहीं लिया आवेदन, महिला थाने से भी कामिनी को नहीं मिली सहायता
थक हार चुकी कामिनी ने महिषी थाना में आवेदन दी। लेकिन वहां इनका आवेदन ससुर चौकीदार के दबाब में नहीं लिया गया। फिर आवेदन लेकर सहरसा महिला थाना पहुंची लेकिन वहां भी चौकीदार की पैरवी थी शायद इसीलिए एक महिला की व्यथा को एक महिला ऑफिसर नहीं समझी। उसके आवेदन को वापस कर दिया। कामिनी पिछले 15 दिन से पस्तवार में अपनी ममेरी बहन विभा देवी के घर खाना सास-ससुर से आरजू-मिन्नत कर रही थी
मायके वालों ने कहा- मनीष ने दूसरी जगह नहीं होने दी थी कामिनी की शादी
गांव पहंचे कामिनी के मायके वालों ने बताया कि मनीष के साथ प्रेम-प्रसंग की जानकारी मिलने पर कामिनी की शादी निर्मली थाना क्षेत्र के जरौरा में तय कर दी। लेकिन मनीष वहां पहुंच कर कामिनी के साथ अपने प्रेम संबंध का जिक्र करते हुए उस शादी पर भी ब्रेक लगवा दिया। कामिनी की हत्या की खबर सुनते ही घटनास्थल पर पहुंचे महिषी थानाध्यक्ष राजेश कुमार, जलई थानाध्यक्ष संजय दास के अलावा बनगांव एवं नवहट्टा थाना से पुलिस बल ने शव को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
शादी की रसीद और मंदिर में पति संग ली गई तस्वीर के साथ भटकती रही कामिनी
प्रेम प्रसंग और शादी के कई सबूत जैसे शादी की निबंधन रसीद, मंदिर में खींची गई तस्वीर लेकर कामिनी महिला थाना से लेकर महिषी थाना तक का चक्कर लगाती रही। लेकिन उसे किसी ने न्याय नहीं दिया। हालांकि मौत के बाद समाज के लोग उसे न्याय दिलाने के लिए खड़े दिखे। बहन की मौत की खबर सुन पहुंचे चचेरे भाई परमानन्द पासवान, सगे भाई रोशन पासवान ने बताया कि उनके बहन की हत्या की गई है। हालांकि समाचार भेजे जाने तक कामिनी के परिजन द्वारा आवेदन नहीं दिया गया।
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