दो मिनट, दो गोली और दो जानें बेजान:चुनाव प्रचार से मना करने पर 3 दिन से चल रहा था पति-पत्नी में विवाद

मुंगेरएक वर्ष पहले
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भाजपा नेता अरुण यादव और प्रीति कुमारी की फाइल फोटो। - Dainik Bhaskar
भाजपा नेता अरुण यादव और प्रीति कुमारी की फाइल फोटो।

मुंगेर के लाल दरवाजा में भाजपा नेता अरुण यादव और उनकी पत्नी की मौत मामले में यह बात सामने आई है कि दोनों के बीच पिछले तीन दिनों से विवाद चल रहा था। अरुण यादव की पत्नी प्रीति मेयर पद की प्रबल दावेदार थीं। इसलिए अरुण अभी से जनसंपर्क करना चाह रहे थे, लेकिन पत्नी मना कर रही थी। अरुण के पिता फुलेश्वर यादव ने बताया कि अरुण अपनी पत्नी प्रीति को प्रचार में जाने के लिए कह रहा था।

मगर प्रीति जनसंपर्क अभियान में लगातार जाने के कारण थकी हुई थी। इस कारण वह आज प्रचार में जाने से कतरा रही थी। इसी बात को लेकर बीते तीन दिनों से दोनों के बीच काफी विवाद चल रहा था। गौरतलब है कि कोतवाली थाना के लाल दरवाजा में भाजपा नेता अरुण यादव (40) ने मेयर प्रत्याशी पत्नी प्रीति कुमारी (38) की गोली मारकर हत्या के बाद खुद को भी गोली मारकर खुदकुशी कर ली। महज दो मिनट में दो गोली चली और पति-पत्नी की मौत हो गई। गुरुवार की शाम लगभग साढ़े पांच बजे गीता बाबू रोड में अचानक दो मिनट के अंतराल पर दो गोली चलने की आवाज़ सुन कर इलाके में कोहराम मच गया।

अरुण चुनाव प्रचार करना चाह रहे थे, लेकिन पत्नी मना कर रही थी।
अरुण चुनाव प्रचार करना चाह रहे थे, लेकिन पत्नी मना कर रही थी।

अरुण यादव का रहा है आपराधिक इतिहास

मृतक अरूण यादव का आपराधिक इतिहास भी रहा है। बड़ा बाबू के नाम से चर्चित मृतक अरूण यादव महज दो वर्षों पूर्व तक दियारा के आतंक के रूप में शुमार था। इस पर हत्या, लूट सहित जमीन कब्जा करने के कई मामले दर्ज थे। हालांकि बीते दो वर्षों में राजनीतिक रूप से खुद को सक्रिय कर मृतक ने अपनी एक अलग पहचान बनानी शुरू की थी।

अस्पताल में बीजेपी नेताओं का लगा जमावड़ा

पति पत्नी के शव को पोस्टमार्टम के लिए सदर अस्पताल लाते ही बीजेपी नेताओं का तांता लग गया। जमालपुर प्रखंड अध्यक्ष किस्टू सिंह ने सदर अस्पताल पहुंच कर दु:ख व्यक्त किया। उन्होंने कहा की अरुण यादव का इस तरह चले जाना पार्टी सहित व्यक्तिगत रूप पर बड़ी क्षति हुई है।

घटना के बाद रोते-बिलखते परिजन।
घटना के बाद रोते-बिलखते परिजन।

पत्नी को मेयर पद का प्रत्याशी घोषित कर दिया था

शहर में बड़ा बाबू के नाम से चर्चित अरुण यादव के मौत की खबर सुनते ही लोगों के बीच कई तरह की बातें होने लगी। लोग कयास लगाने लगे की आखिर क्या हुआ जो ज़िंदादिल इंसान ने पत्नी की हत्या कर आत्महत्या जैसा कदम उठा लिया। मुंगेर में होने वाले नगर निगम चुनाव में वर्ष 22 के जनवरी महीने में हीं पहले पत्नी को मेयर उम्मीदवार घोषित कर चुके अरुण यादव ने मतदाताओं के बीच प्रचार प्रसार करना शुरू कर दिया था। पत्नी को मेयर पद का प्रत्याशी बनाते ही अरुण यादव ने शहर में अंधाधुंध चुनाव की तैयारी करते हुए लोगों से मिलना जुलना शुरू कर कर दिया।

मौके से दो देसी कट्‌टा व एक बिंडोलिया हुआ बरामद

घटना की जानकारी मिलते हीं मौके पर पहुंची पुलिस टीम ने घटना स्थल से टेबुल पर रखे एक देसी कट्‌टा, जिस पलंग पर अरूण का शव पड़ा था वहां से एक देसी कट्‌टा सहित मृतक अरूण के कमर में बंधे एक बिंडोलिया को बरामद किया। जिसमें 12 बोर को गोलियां भरी थी। ऐसे में सवाल उठना लाजिमी है कि अगर मृतक ने पत्नी की हत्या सहित खुद की खुदकुशी में देसी कट्‌टे का प्रयोग किया तो क्या वह 12 बोर वाली कट्‌टा थी या फिर कहानी कुछ और है। अगर विशेषज्ञ की मानें तो प्रीति के सर में जिस प्रकार का जख्म है वह .315 या फिर .303 की गोली का है।

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