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बिहार में कोरोना का पहला केस मुंगेर से मिला था। अब सरकारी स्कूलों को खोलने के बाद बच्चों में कोरोना विस्फोट का मामला भी यही आया है। यहां एक सरकारी स्कूल में 75 बच्चों की जांच की गई, जिनमें 22 बच्चों समेत 25 लोग कोरोना पॉजिटिव निकले। इनमें 2 शिक्षक और एक आदेशपाल शामिल हैं।
वहीं, गया में एक हेडमास्टर के कोरोना पॉजिटिव निकलने से संपर्क के 8 टीचर क्वारंटाइन हो गए हैं। भागलपुर के एक प्राइवेट स्कूल के दो पॉजिटिव केस की जानकारी वहां के सिविल सर्जन (CS) तक नहीं पहुंची है। भागलपुर के एक प्राइवेट स्कूल में 6 जनवरी को ही दो पॉजिटिव बच्चों की जानकारी सामने आई, लेकिन भास्कर टीम को सिविल सर्जन की ओर से ऐसी कोई जानकारी नहीं मिली।
भागलपुर CS का कहना है कि किसी स्कूल ने अबतक ऐसी सूचना नहीं दी है। उन्होंने भास्कर से कहा कि आपने खबर के बाद जिस स्कूल का नाम बताया है, उससे जानकारी ली जाएगी कि अगर कोई ऐसा बच्चा है तो इसकी जानकारी क्यों नहीं दी गई। (भास्कर ने उस स्कूल की जानकारी CS को तो दे दी, लेकिन कोविड प्रोटोकॉल के तहत विद्यार्थी का नाम न पूछा, न प्रकाशित किया।) इस मामले पर स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय का कहना है कि विभाग पूरी तरह से अलर्ट पर है। जहां भी इस तरह की सूचना मिलती है वहां स्वास्थ्य विभाग की टीम अपनी तरफ से कार्रवाई कर रही है। तत्काल प्रभाव से स्वास्थ्य सुविधाएं मुहैया कराई जा रही हैं। यही वजह है कि बिहार में रिकवरी रेट 98.1% पर हो गया है।
कंटेनमेंट जोन घोषित करने के साथ ही होगी कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग
मुंगेर के स्कूल में इतनी बड़ी संख्या में कोरोना संक्रमण का मामला सामने आने के बाद इलाके को कंटेनमेंट जोन घोषित करने का आदेश दिया गया है। सिविल सर्जन डॉ. अजय कुमार भारती ने यह आदेश दिया है। छात्रों के गांव के लोग और उनके संपर्क में आने वाले परिवार के लोगों की कॉन्टैक्ट ट्रेसिंग कर सभी के जांच करने के निर्देश दे दिए गए हैं। सिविल सर्जन ने जानकारी दी कि ममई उच्च विद्यालय के 2 शिक्षक समेत 75 छात्र-छात्राओं का टेस्ट कराया गया, जिनमें 25 कोरोना पॉजिटिव मिले हैं। स्कूल में संक्रमित मिलने वालों में 2 महिला शिक्षिकाएं, एक आदेशपाल, 4 छात्राएं और 18 छात्र शामिल हैं।
अभिभावकों में संक्रमण को लेकर दहशत
मुंगेर के स्कूल में इतनी बड़ी संख्या में शिक्षकों और बच्चों के कोरोना संक्रमित हो जाने के बाद से दहशत का माहौल है। गया की तरह ही मुंगेर में भी स्कूलों को बंद करने के आदेश दिये जा सकते हैं। साथ ही सैनिटाइजेशन पर भी जोर दिया जाएगा।
18 से जूनियर सेक्शन खोलने की संभावना नहीं
राज्य सरकार के निर्देश पर 04 जनवरी से बिहार में 9वीं और इससे ऊपर की कक्षाओं में पढ़ाई शुरू कराई गई है। जूनियर कक्षाओं में पढ़ाई शुरू कराने के लिए 18 जनवरी की तारीख निर्धारित करते हुए सरकार ने समीक्षा की बात कही थी। दूसरी तरफ जमीनी हकीकत यह है कि भास्कर ने स्कूलों में कोरोना गाइडलाइन के अनुपालन नहीं होने की पूरे बिहार की तस्वीर खबरों के जरिए दिखाई, तब भी सरकार ने सख्ती नहीं की। सरकार की ओर से जारी गाइडलाइन का पालन करने के लिए किसी को जिम्मेदार नहीं बनाए जाने के कारण स्कूलों में न तो सोशल डिस्टेंसिंग का पालन हो रहा है, न सभी बच्चों को मास्क मिला है, न बच्चे-टीचर ही शत प्रतिशत मास्क में स्कूल आ रहे और न सैनिटाइजेशन की व्यवस्था है।
पॉजिटिव- आज आप बहुत ही शांतिपूर्ण तरीके से अपने काम संपन्न करने में सक्षम रहेंगे। सभी का सहयोग रहेगा। सरकारी कार्यों में सफलता मिलेगी। घर के बड़े बुजुर्गों का मार्गदर्शन आपके लिए सुकून दायक रहेगा। न...
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