विधानसभा चुनाव में राजनीतिक दल अपने आधार वोट वाली जातियों के अधिक प्रत्याशी उतार रहे हैं। ग्रैंड डेमोक्रेटिक सेकुलर फ्रंट का मुख्य घटक दल, रालोसपा कुशवाहा (कोईरी) समाज को अपना आधार वोट मानती है। इस फ्रंट में 6 पार्टियां शामिल हैं। इनमें से रालाेसपा ही सबसे अधिक सीटों पर प्रत्याशी उतारेगी। तीनाें चरण मिलाकर पार्टी 100 से अधिक सीटाें पर चुनाव लड़ेगी, जिनमें 40% कुशवाहा उम्मीदवार उतारेगी। रालोसपा ने पहले चरण में 42 सीटों पर उम्मीदवार उतारे हैं, जिनमें से 17 कुशवाहा प्रत्याशी हैं। पार्टी नेताओं के अनुसार अगले दो चरणों के प्रत्याशियों में भी अधिक कुशवाहा उम्मीदवार ही होंगे। फ्रंट के दूसरे घटक दल बसपा का आधार वोट रविदास समाज है, लेकिन यहां भी कुछ कुशवाहा प्रत्याशी बनाए जा रहे हैं। फ्रंट का तीसरा सबसे मजबूत दल, ओबैसी की पार्टी एआईएमआईएम काे माना जाता है।
इसका आधार वोट मुस्लिम मतदाता हैं। जाहिर है कि यहां से अधिकांश मुस्लिम उम्मीदवार ही होंगे। इसका क्षेत्र भी मुस्लिम बहुल इलाका है। किशनगंज, कटिहार व अररिया वाले इलाके में ही इस पार्टी के उम्मीदवार होंगे। पूर्व केंद्रीय मंत्री डॉ. देवेन्द्र प्रसाद यादव के समाजवादी जनता दल डेमोक्रेटिक का फोकस यादव और पिछड़ा वर्ग के प्रत्याशियों पर होगा।
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