बिहार सरकार के मंत्रियों के विवादित बयान थम नहीं रहे हैं। इसमें एक और नाम भूमि सुधार मंत्री आलोक मेहता का भी जुड़ गया। उन्होंने कहा कि 10% वाले अंग्रेजों के दलाल थे। पहले मंदिर में घंटी बजाते थे। मंत्री ने आगे कहा कि 2% वाले किसी को मुख्यमंत्री नहीं बना सकते हैं।
आलोक मेहता RJD कोटे से मंत्री हैं। कुछ दिन पहले RJD कोटे के ही शिक्षा मंत्री चंद्रशेखर ने रामचरित मानस पर विवादित बयान दिया था। इसके विरोध में विपक्ष के साथ महागठबंधन के दल भी आ गए थे।
पहले मंदिर में घंटी बजाते थे और अंग्रेजों के दलाल थे
मंत्री आलोक मेहता शनिवार को भागलपुर के गोराडीह प्रखंड में सालपुर पंचायत के काशील हटिया मैदान में एक जनसभा को संबोधित कर रहे थे। उसी दौरान उन्होंने कहा- जिन्हें आज 10% में गिना जाता है वह पहले मंदिर में घंटी बजाते थे और अंग्रेजों के दलाल थे। ये जो 10% लोग हैं उनके सामने जो आवाज उठाता था, उनकी जुबान बंद कर दी जाती थी। जो लोग 10% हैं, आने वाले समय में आरक्षण पर खतरा हैं।
आलोक मेहता यहीं नहीं रुके, अपने भाषण में वह इतने बढ़ गए कि उन्होंने अपना महिमा मंडन भी कर डाला। उन्होंने कहा कि RJD भले यादवों की पार्टी हो, लेकिन सबसे ज्यादा RJD में उनकी ही पूछ है। जो फैसला बताता हूं वह RJD में लिया जाता है। जिसका वोट बैंक महज 2% हो वह किसी को मुख्यमंत्री कैसे बना सकता है।
मंत्री के इस विवादित बयान पर आप अपनी राय दे सकते हैं..
विवाद बढ़ा तो मंत्री ने लिया यू टर्न
विवादित बयान पर सफाई देते हुए मंत्री आलोक मेहता ने कहा कि मेरा मतलब किसी जाति पर आक्षेप लगाना नहीं था। बाबू जगदेव जो नारा देते थे, वही बोला हूं, वही मतलब था। मैंने शोषक बोला है, किसी जाति पर कोई आक्षेप नहीं लगाया है, शोषक बदलते गए हैं।
मेहता ने आज मोतिहारी में सफाई देते हुए कहा कि 10 प्रतिशत आरक्षण वालों को मैंने दलाल नहीं कहा है। इसी बात को गलत ढंग से प्रचारित किया जा रहा है। सौ में से दस अंग्रेज शोषक थे। बाद में उनके दलाल शोषक बन गए...इस बात से किसी को क्या दिक्कत है? ईडब्ल्यूएस के समर्थन में हम लोगों ने प्रस्ताव दिया था। मैंने सिर्फ इतना कहा कि पिछड़े और दलित जाति के आरक्षण का कट ऑफ ऊपर जा रहा है, इसके कारण को जानने की जरूरत है।
समाज को तोड़ने वाला बयान दे रहे RJD नेता
सवर्णों को अंग्रेजों के दलाल बताए जाने पर BJP के विधान परिषद के प्रतिपक्ष के नेता सम्राट चौधरी ने पलटवार किया है। कहा है कि RJD के नेता इन दिनों समाज को तोड़ने वाला बयान दे रहे हैं। RJD के एक नेता आर्मी पर हमला करवाते हैं, तो दूसरे नेता रामचरित मानस पर सवाल उठाते हैं तो, तीसरे नेता कहते हैं कि सवर्ण दलाल हैं।
जबकि उनके नेता लालू यादव सवर्ण की कृपा से मुख्यमंत्री बने थे। लालू यादव पर रघुनाथ झा ने कृपा की थी। वहीं, चंद्रगुप्त के बारे में बताते हुए सम्राट चौधरी ने कहा कि चाणक्य नहीं होते तो उनका भी उदय नहीं होता। आजकल RJD के नेता बेबुनियाद बयान दे रहे हैं।
बिहार के शिक्षा मंत्री बोले- रामचरितमानस नफरत फैलाने वाला ग्रंथ:कहा- मनु स्मृति दलितों और वंचितों के हक छीनने की बातें करता है
बिहार के शिक्षा मंत्री डॉ. चन्द्रशेखर ने मनु स्मृति और रामचरितमानस को समाज में नफरत फैलाने वाला ग्रंथ बताया है। उन्होंने कहा- रामचरित मानस समाज में दलितों-पिछड़ों और महिलाओं को पढ़ाई से रोकता है। उन्हें उनका हक दिलाने से रोकता है। चंद्रशेखर RJD से विधायक हैं। पूरी खबर पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें
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