रोहतास के करगहर थाना क्षेत्र के बालापुर गांव के बाहर स्थित श्मशान में रविवार शाम एक नवजात बच्ची लावारिस हालत में पड़ी मिली। बच्ची के रोने की आवाज सुन वहां कुछ चरवाहे पहुंचे तो देखा कि एक नवजात बच्ची जमीन पर चादर में लपेट रखी हुई थी और आस-पास कोई नहीं था।
गांव के श्मशान में नवजात बच्ची के मिलने की बात गांव में आग की तरह फैली और मौके पर बड़ी संख्या में ग्रामीण जमा हो गए। बच्ची को लेकर तरह-तरह की बाते होने लगी, बच्ची को फेंकने को ले निर्दयी मां-बाप को लोग कोस रहे थे। कुछ ग्रामीणों ने करगहर पुलिस को सूचना दी। सूचना पर पहुंची पुलिस ने बाल संरक्षण गृह को मामले की जानकारी दी। सूचना पर बाल संरक्षण गृह के प्रतिनिधि भी मौके पर पहुंच गए।
नि:संतान दंपति को सौंपी गई बच्ची
बच्ची के मिलने की सूचना पर मौके पर पहुंचे निसंतान दंपती ने बच्ची को अपनाने की इच्छा जताई। बताते है कि बालापुर गांव के ज्ञानी साह और उनकी पत्नी बिंदा देवी की काई संतान नहीं है। दंपति की ओर से बच्ची को अपनाए जाने की बात सामने आने पर गांव के लोगों ने भी उनका साथ दिया।
लोगों ने पुलिस और बाल संरक्षण गृह के प्रतिनिधि को भी इस बात से अवगत कराया। इसके बाद आम सहमति से नवजात बच्ची को ज्ञानी साह और उनकी पत्नी को सौंप दिया गया। कुछ घंटे पहले जो नवजात लावारिस थी अब वह अपने नए मां-बाप की गोद में थी। गांव वालों ने बताया कि बच्ची को विधिवत गोद लेने की प्रक्रिया भी ज्ञानी साह एवं उनकी पत्नी द्वरा पूरी की जाएगी।
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