भले ही 26 फरवरी के बाद चंडीगढ़ में कोरोना से कोई मौत नहीं हुई है, इसके बावजूद शहर में कोरोना भयानक रूप ले रहा है। चंडीगढ़ पीजीआई और जीएमसीएच-32 में वेंटिलेटर पर 2-2 मरीज आ गए हैं। इनके अलावा पीजीआई में 4, जीएमसीएच-32 में 12 और जीएमएसएच-16 में 6 कोरोना मरीज ऑक्सीजन सपोर्ट पर हैं।
गत शुक्रवार को शहर में 96 केस एक ही दिन में आ गए। 1657 लोगों के सैंपल लिए गए थे। ऐसे में पॉजिटिविटी रेट 5.79 रहा। सप्ताह का पॉजिटिविटी रेट 5.59 प्रतिशत पहुंच चुका है। सप्ताह में रोजाना आने वाले केसों का औसत 65 पहुंच गया है। शहर में कोरोना के एक्टिव मामले 458 हो चुके हैं। अभी तक जून के 24 दिनों में 939 मामले आ चुके हैं।
चंडीगढ़ में कोरोना केसों के बढ़ने से चंडीगढ़ प्रशासन भी चिंतित है। शहर में कोरोना प्रोटोकॉल में बदलाव किया जा चुका है। चंडीगढ़ में 18 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों के लिए भी को-वैक्सीन उपलब्ध करा दी गइ है। चंडीगढ़ प्रशासन का स्वास्थ्य विभाग लोगों से अपनी कोरोना वैक्सीन की पेंडिंग डोज लगवाने की अपील कर रहा है।
सेक्टर 25 और मनीमाजरा में सबसे ज्यादा केस
कुल 96 नए मामलों में सबसे ज्यादा 7-7 मामले सेक्टर 25 और मनीमाजरा में आए हैं। इनके अलावा सेक्टर 8 और 9 में भी 6-6 मामले आए हैं। नए मामलों में 58 महिलाएं और 38 पुरुष शामिल हैं। वहीं दूसरी ओर कोरोना के 55 मरीज ठीक भी हुए हैं। गत 20 अप्रैल से शहर में कोरोना केस एक बार फिर से बढ़ने शुरू हुए हैं। मई में 379 नए केस आए थे। चंडीगढ़ प्रशासन की एडवाइजरी के बावजूद न तो लोग भीड़ वाली जगहों पर जाने से बच रहे हैं और न ही मास्क का सभी लोग ऐसी जगहों पर प्रयोग कर रहे हैं।
इतने बच्चे लगवा चुके वैक्सीनेशन
चंडीगढ़ में 12 से 14 वर्ष के बच्चों में वैक्सीनेशन की रफ्तार कम है। अभी तक इस आयु वर्ग में 33,194 बच्चों ने ही कोर्बेवैक्स की पहली डोज लगवाई है। इस आयु वर्ग में 45 हजार बच्चों को कवर करने का लक्ष्य है। अभी पहली डोज से 73.76 प्रतिशत बच्चे ही कवर हुए हैं। वहीं दूसरी डोज 17,979 बच्चों ने लगवाई है।
दूसरी ओर 15 से 18 वर्ष के 73,464 बच्चे को-वैक्सीन लगवा चुके हैं। यह 72 हजार बच्चों के तय लक्ष्य से ज्यादा है। वहीं दूसरी डोज 49,259 बच्चे लगवा चुके हैं। वयस्क पहले ही दोनों डोज लगवा चुके हैं। हालांकि अभी तक बूस्टर डोज सिर्फ 52,437 वयस्कों ने ही लगवाई है।
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