16 जुलाई से खुल रहे स्कूलों में बच्चों को हाइब्रिड मोड के तहत पढ़ाने का फैसला लिया गया है। ऐसे में क्लास टीचर्स की ओर से रोल नंबर के आधार पर बच्चों को स्कूल में क्लास लगाने के लिए बुलाया जाएगा। इसके लिए 15 जुलाई को सभी क्लास टीचर अपने-अपने क्लास के व्हाट्सएप ग्रुप में रोल नंबर 1 से 20 तक के बच्चों को पेरेंट्स कंसेंट फॉर्म के साथ स्कूल में क्लास लगाने के लिए मैसेज करेंगे।
बिना कंसेंट फॉर्म के स्कूल आने वाले बच्चों को स्कूल प्रबंधन की ओर से घर वापस भेज दिया जाएगा। सेक्टर-7 गवर्नमेंट सीनियर सेकंडरी स्कूल की इंचार्ज सिमी बंसल ने बताया कि स्कूल के सभी क्लास टीचर्स ने बच्चों का व्हाट्सएप ग्रुप बनाया हुआ है।
टीचर्स अपने ग्रुप में मैसेज कर रोल नंबर 1 से 20 तक के बच्चों को स्कूल में क्लास लगाने के लिए बुलाएंगे। बाकी बच्चों को ऑनलाइन पढ़ाया जाएगा। बतौड़ गवर्नमेंट स्कूल के प्रिंसिपल जतिंदर शर्मा ने बताया कि स्कूल में 50 प्रतिशत बच्चों को व्हाट्सएप के जरिए क्लास लगाने के लिए बुलाया गया है।
साथ ही सभी बच्चों को पेरेंट्स कंसेंट फॉर्म के साथ आने को कहा गया है। बाकी 50 प्रतिशत बच्चाें के लिए ऑनलाइन क्लास लगेगा। बिना पेरेंट्स कसेंट फॉर्म के स्कूल में आने वाले बच्चों को घर वापस भेज दिया जाएगा।
ऐसे होगी पढ़ाई
जिले के सरकारी व निजी स्कूलों में हाइब्रिड मोड में पढ़ाई होगी। क्लासरूम के 50 प्रतिशत बच्चों को स्कूल में बुलाकर पढ़ाया जाएगा और बाकी 50 प्रतिशत बच्चों की उसी दिन ऑनलाइन क्लासें लगेंगी ताकि ऑनलाइन क्लास लेने वाले बच्चे पीछे न रह जाएं।
अगले दिन ऑनलाइन क्लास अटैंड करने वाले ऑफलाइन क्लास अटैंड करेंगे और ऑफलाइन क्लास वाले बच्चे ऑनलाइन क्लास अटैंड करेंगे। यह सिलसिला ऑल्टरनेट डेज के आधार पर चलेगा। इस बार अटेंडेंस का कोई मुद्दा नहीं बनेगा और यह पेरेंट्स पर निर्भर करता है कि वे अपने बच्चे को ऑनलाइन या ऑफलाइन किस मोड में पढ़ाई करवाना चाहते हैं।
एक भी पॉजिटिव केस आने पर स्कूल बंद कर दिया जाएगा
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