छत्तीसगढ़ के जांजगीर-चांपा में जिला अस्पताल से एक दिन पहले लापता हुए अधेड़ का शव नहर के पास पड़ा मिला। अधेड़ हार्ट पेशेंट था और उसे चार दिन पहले ही अस्पताल में भर्ती कराया गया था। अस्पताल से गायब होने के बाद उसका कुछ पता नहीं चल रहा था। सूचना मिलने पर पहुंची पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया है। अभी तक उसकी मौत का कारण स्पष्ट नहीं है। मामला सिटी कोतवाली क्षेत्र का है।
जानकारी के मुताबिक, बलौदा के बुची हरदी निवासी हुकुम रात्रे (57) को हार्ट संबंधी समस्या के चलते 17 मई को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया था। अस्पताल में अटेंडर के तौर पर उसकी पत्नी सावित्री बाई मौजूद रहती थी। तीन दिन उपचार के बाद 19 मई की सुबह करीब 11 बजे हुकुम रात्रे अचानक अस्पताल से गायब हो गया। इसके बाद परिजनों, अस्पताल स्टाफ और सिक्योरिटी गार्ड ने उसे काफी तलाश किया, पर पता नहीं चला।
इस बीच शहर की हसदेव विहार कॉलोनी के सामने पिलारी नहर के बगल में सुबह अधेड़ का शव पड़ा मिला। आसपास के लोगों ने देखा तो डायल-112 को सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची और शव की शिनाख्त कराई। इससे पता चला कि शव हुकुम रात्रे का था। शव देखकर लग रहा था कि उसकी मौत लापता होने के दिन ही हो गई थी। पुलिस का कहना है कि शनिवार को पोस्टमार्टम के बाद ही मौत का कारण सामने आ पाएगा।
दो बेटों की मौत के बाद हो गया था शराब का आदी
परिजनों ने बताया कि हुकुम रात्रे गांव में खेती किसानी करता था। परिवार में सब कुछ बढ़िया चल रहा था इस बीच करीब 6 साल पहले उसके दो बेटों की अचानक मौत हो गई। इसके कारण वह शराब का आदी हो गया था। परिजनों के मुताबिक हुकुम रात्रे के बड़े बेटे जय प्रकाश की मौत NTPC सीपत में दुर्घटना में हुई थी। वहीं छोटे बेटा हेमंत कुमार कैंसर चलते मर गया।
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