छत्तीसगढ़ के कोरबा में 2 साल की बच्ची को कुत्ते उठाकर ले गए। वह बुरी तरह से बच्ची को काटते रहे। बच्ची अपने घर के बाहर खेल रही थी। उसकी चीख सुनकर मां दौड़ी तो सामने का नजारा देख हैरान रह गई। उसने डंडे और पत्थर से मारकर कुत्तों को भगाया और बच्ची की जान बचाई। बच्ची के शरीर पर 150 से ज्यादा घाव आए हैं। उसे मेडिकल कॉलेज अस्पताल में भर्ती कराया गया है। बच्ची की हालत गंभीर बताई जा रही है।
जानकारी के मुताबिक, बांकीमोंगरा निवासी अखिलेश साहू SECL में कर्मचारी हैं। उनकी एक ही बेटी हैं वंशिका (2)। वंशिका गुरुवार सुबह घर के बाहर ही रोज की तरह खेल रही थी। अंदर उसकी मां सीमा किचन में काम कर रही थी। इसी दौरान वंशिका के चीखने और रोने की आवाज सुनाई दी। उन्हें लगा कि वंशिका गिर गई है, लेकिन जब वह दौड़कर बाहर गईं तो देखा कि दो आवारा कुत्ते उनकी बच्ची को काट रहे थे।
कुत्तों के चंगुल से छुड़ाकर घर में भागी मां
यह देखकर वह डर गईं और वहां पड़े पत्थर और डंडे से कुत्तों को मारकर भगाने लगीं। इसके बाद भी बच्ची को दोनों कुत्ते नोचते रहे। किसी तरह सीमा ने वंशिका को कुत्तों के चंगुल से छीना और उसे लेकर घर के अंदर भागी। इसके बाद पति को इसकी जानकारी दी और बच्ची को जिला अस्पताल में भर्ती कराया गया। वहां बच्ची की हालत गंभीर बताई जा रही है। उसके सिर, हाथ और पैर पर कुत्तों ने बुरी तरह से घाव किए हैं।
घटना से लोगों में आक्रोश
मेडिकल कॉलेज ने मामले की गंभीरता को देखते हुए बच्ची के इलाज के लिए विशेष डॉक्टरों को देखरेख के लिए बुलाया है। इस घटना के बाद स्थानीय लोगों में आक्रोश है। लोगों का कहना है कि आवारा कुत्तों का आतंक हर दिन बढ़ता जा रहा है। कुत्तों की संख्या बढ़ने लगी है, इस ओर नगर निगम को ध्यान देने की जरूरत है। लोगों का कहना है कि काफी लंबे समय से कुत्तों का बधिया करण बंद कर दिया गया है।
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