रविवि में मूल्यांकन के लिए नैक की टीम फरवरी-मार्च में आ सकती है। इसके लिए विवि से सेल्फ स्टडी रिपोर्ट (एसएसआर) भेजने की तैयारी की जा रही है। पांच साल पहले नैक ने रविवि को ए ग्रेड दिया था। दिसंबर में इस ग्रेड की अवधि खत्म हो गई। हालांकि, रविवि ने फिर मूल्यांकन के लिए नैक को आवेदन किया है। इसलिए मूल्यांकन होने तक विवि के पास ए ग्रेड बरकरार रहेगा।
रविवि के अफसरों का कहना है कि नए सिरे से मूल्यांकन के लिए नैक को आवेदन किया गया है। इन्हें संस्थागत रिपोर्ट भेजी गई है। इसे भेजने के 45 दिनों के भीतर एसएसआर भेजना रहता है। इसके अनुसार तैयारी की जा रही है। विभागों से भी जानकारी ली जा रही है। जनवरी में एसएसआर नैक को भेज दी जाएगी। इसके कुछ दिनों के बाद नैक की टीम विवि आएगी। इसलिए संभावना है कि फरवरी-मार्च में नैक की टीम विवि आएगी। गौरतलब है कि रविवि में नैक की तैयारी की जा रही है। इसके लिए इंफ्रास्ट्रक्चर पर ज्यादा ध्यान दिया जा रहा है। गार्डन बनाए जा रहे हैं, मरम्मत का काम चल रहा है।
इसके अलावा जरूरी सुविधाएं भी मुहैया करायी जा रही है। गौरतलब है कि राज्य में रविवि के अलावा कुछ संस्थानों के पास ए ग्रेड है। जबकि राजधानी का कोई भी कॉलेज ए ग्रेड की श्रेणी में नहीं है। जबकि यहां राज्य के प्रमुख व पुराने कॉलेज हैं। डिग्री गर्ल्स कॉलेज में भी नैक की टीम जल्द आएगी। इसके लिए तैयारी की जा रही है। पांच साल पहले इस कॉलेज को नैक ने बी ग्रेड दिया था। रविवि काे पांच साल पहले नैक ने ए ग्रेड की श्रेणी में रखा था। ए ग्रेड यानी टॉप यूनिवर्सिटी। देश के चुनिंदा विवि के पास ए प्लस प्लस और ए ग्रेड है। इसलिए यह ग्रेडिंग रविवि के लिए भी मायने रखती है। शिक्षाविदों का कहना है कि इस बार रविवि के लिए रास्ता आसान नहीं है। शिक्षकों की कमी भारी पड़ सकती है। इसके अलावा नैक ने मूल्यांकन में कुछ बदलाव किया है। इससे भी परेशानी हो सकती है।
यह होता है एसएसआर
एसएसआर यानी सेल्फ स्टडी रिपोर्ट। इस रिपोर्ट में रविवि अपनी जानकारी नैक को देगा। जैसे विवि की स्थापना कब हुई, विवि में क्या-क्या पढ़ाई होती है। शिक्षकों की संख्या कितनी है। स्टॉफ कितने हैं। उपलब्धियां क्या-क्या रही। कितने विभाग हैं। क्या-क्या कोर्स है समेत अन्य की जानकारी दी जाएगी। मूल्यांकन के लिए निर्धारित पैरामीटर के अनुसार विवि की ओर जानकारी दी जाएगी।
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