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सूरत अब कोरोना को पछाड़ रहा है। अब तक आए कुल 33181 पाॅजिटिव में से 30102 मरीज कोरोना को हराकर घर चले गए। रिकवरी रेट 90.72 फीसदी पर पहुंच गई है। एक्टिव मरीजों की संख्या भी पिछले 17 दिनों से लगातार घट रही है। गुरुवार को 2105 एक्टिव मरीज रह गए। बुधवार को 2161 एक्टिव मरीज थे।
शुक्रवार को एक्टिव मरीजों की संख्या 2100 से नीचे आ सकती है। रोज डिस्चार्ज होने वाले मरीजों की संख्या में नए आ रहे मरीजों की अपेक्षा ज्यादा है। यही नहीं माैतें भी रोज 2 से 3 ही हो रही हैं। गुरुवार को शहर में 178 और ग्रामीण में 124 यानी 302 मरीज डिस्चार्ज हुए। ठीक होने वाले मरीजों में 22111 शहर के हैं, जबकि 7991 ग्रामीण के हैं।
4 टेक्सटाइल व्यापरी, ब्रोकर, छात्र, कारपेंटर, अठवा पुलिस स्टेशन में कम्प्यूटर ऑपरेटर, मोबाइल शॉप वाला, अकाउंटेंट, कतारगाम पुलिस स्टेशन का एएसआई, स्मीमेर का लैब टेक्नीशियन, बैंक कर्मी, डायमंड ब्रोकर, स्मीमेर का डॉक्टर, डायमंड वर्कर, स्मीमेर की आया, सिविल अस्पताल का डॉक्टर, आदि सहित शहर में 176 और ग्रामीण में 73 यानी 249 नए मामले सामने आए हैं।
अब तक कोरोना के 33181 मामले आ चुके हैं। वहीं शहर के दो मरीजों की इलाज के दौरान मौत हो गई। अब तक मौत का आंकड़ा 974 तक पहुंच गया है। जबकि शहर के 178 और ग्रामीण के 124 यानी 302 मरीज ठीक होकर घर गए। अब तक 30102 मरीज ठीक हो चुके हैं।
स्मीमेर के आरएमओ सहित परिवार के 5 सदस्य रिकवर
स्मीमेर अस्पताल के आरएमओ डॉ. जयेश पटेल ने महज 7 दिन में कोरोना को हरा कर फिर से ड्यूटी पर लौट आए। परिवार के अन्य चार लोगों ने भी कोरोना को हरा दिया है। मूल पाटन जिले के रहने वाले डॉ. जयेश पटेल मनपा संचालित स्मीमेर अस्पताल में सीनियर आरएमओ के पद पर कार्यरत हैं। अस्पताल में मरीजों के बीच काम करते-करते वह कोरोना पॉजिटिव हो गए थे। इसी वजह से परिवार के अन्य सदस्य भी कोरोना संक्रमित हो गए थे। उनके 80 वर्षीय पिता मोहनभाई पटेल को 29 अगस्त को कोरोना हो गया था। बाद में डॉ. जयेश की रिपोर्ट भी पॉजिटिव आई। धीरे-धीरे परिवार के अन्य सदस्यों को भी कोरोना हो गया।
पहली बार पॉजिटिव प्रसूता की एंबुलेंस में कराई डिलीवरी, दोनों की हालत स्थिर
शहर में पहली बार कोरोना पॉजिटिव भटार के इंदिरानगर निवासी 22 वर्षीय रत्नाबेन अभिमन्यु सोलंकी की 108 एंबुलेंस में डिलीवरी हुई। मां और बच्ची सिविल अस्पताल में हैं और दोनों की हालत स्थिर है। सिविल के ट्रॉमा सेंटर में ड्यूटी पर मौजूद नर्स ने कोरोना से डरे बिना नवजात की नाल काट एनआईसीयू में पहुंचाया और मां को प्रसूति वार्ड में भर्ती कराया। रत्ना को बुधवार शाम प्रसव पीड़ा शुरू हुई थी। परिजन अलथान हेल्थ सेंटर ले गए तो वहां रैपिड टेस्ट में वह पॉजिटिव मिली।
ट्रॉमा में काटी बच्ची की नाल
पैरामेडिकल स्टाफ पियूष पटेल और पॉयलट निलेशभाई चौहान मौके पर पहुंचे थे। पियूष ने बताया कि बच्चे का सिर बाहर आ गया था तो एंबुलेंस में ही डिलीवरी करवाई। रात 8 बजे सिविल अस्पताल के ट्रॉमा सेंटर पहुंचा दिया। ट्रॉमा की नर्स मिली चौहान ने बच्चे की नाल काटी। 108 सर्विस के अधिकारी रोशन देसाई ने बताया कि यह पहला मौका है जब पॉजिटिव प्रसूता की 108 एंबुलेंस में डिलीवरी हुई है।
खुशी: 10 दिन से तड़प रहे थे, कोरोना को जीत दादा घर आए तो लिपट गए 13 नाती-पोते
हाल ही में कोरोना से ठीक होकर घर आए कतारगाम की स्वर्ग रेजिडेंसी के निवासी मगनभाई डोबरिया 10 दिन बाद जब कोरोना से ठीक होकर अपने घर लाैटे तो उनके 13 नाती-नातिन, पोते-पोती उनसे लिपट गए। मगन भाई ने बताया कि उनका संयुक्त परिवार है। मुझे, पत्नी, बेटा, बहू, बेटी व दो भतीजे को कोरोना हुआ, लेकिन 13 बच्चों में से कोई संक्रमित नहीं हुआ।
पॉजिटिव- इस समय निवेश जैसे किसी आर्थिक गतिविधि में व्यस्तता रहेगी। लंबे समय से चली आ रही किसी चिंता से भी राहत मिलेगी। घर के बड़े बुजुर्गों का मार्गदर्शन आपके लिए बहुत ही फायदेमंद तथा सकून दायक रहेगा। ...
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