हरियाणा के अंबाला जिले के गांव रतनहेड़ी में किसान गुरुवार को भी तीसरे दिन धरने पर बैठे रहे। किसान अंबाला-शामली एक्सप्रेस-वे के लिए अधिगृहीत की गई जमीन के मुआवजा की मांग पर अडिग हैं। गुरुवार को DRO और NHAI के अधिकारी किसानों से मुलाकात करने धरना स्थल पर पहुंचे। अधिकारियों ने आश्वासन दिया कि ज्यादातर किसानों की पेमेंट जारी कर दी है। जल्द ही किसानों के खातों में ट्रांसफर हो जाएगी। अधिकारियों ने किसानों से धरना खत्म करने की भी अपील की।
उधर, किसानों अपना रुख साफ कर दिया है कि जब तक उनके खातों में पेमेंट नहीं आ जाती वे धरना खत्म नहीं करेंगे। किसान अंबाला-शामली के बीच बनने वाले नया एक्सप्रेस-वे का निर्माण कार्य रुकवा सरकार के खिलाफ रोष जाहिर कर रहे हैं। किसानों ने पेमेंट जारी न होने तक एक्सप्रेस-वे का निर्माण कार्य न होने देने की चेतावनी भी दी है।
लगभग 69 करोड़ की पेमेंट की जारी
DRO विनोद कुमार ने बताया कि रतनहेड़ी की लगभग 15 से में 14 और सपेड़ा की 60 में से लगभग 55 करोड़ की पेमेंट जारी कर दी है। जल्द ही किसानों के खातों में आ जाएगी। DRO ने बताया कि उन किसानों को पेमेंट जारी नहीं हो सकी जिनका अकाउंट नंबर गलत था या फिर उन्होंने अपनी जमीन पर पहले ही लोन लिया हुआ है। जल्द ही सभी किसानों की पेमेंट जारी की जाएगी।
3663.80 करोड़ से बनेगा एक्सप्रेस-वे
भारत माला परियोजना के तहत 3663.80 करोड़ रुपए की लागत से 6 लेन का अंबाला-शामली एक्सप्रेस-वे बनाया जाएगा। अंबाला-चंडीगढ़ रोड से शामली तक इसकी 110 KM लंबाई होगी। इसका राइट ऑफ वे करीब 60 मीटर का होगा और पूरी तरह ग्रीन फील्ड कॉरिडोर होगा। यह एक्सप्रेस-वे अंबाला, कुरुक्षेत्र, करनाल व यमुनानगर से होते हुए वेस्ट UP के सहारनपुर और शामली जिले को आपस में जोड़ेगा। शामली जिले की सीमा से होता हुआ थाना भवन पहुंचेगा। जहां दिल्ली- शामली-सहारनपुर फोर लेन को जोड़ते हुए दिल्ली- देहरादून इकोनॉमिक कॉरिडोर में मिलेगा।
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