हिमाचल के मंडी जिला के कांगनीधार में बन रहे मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर के ड्रीम प्रोजेक्ट शिवधाम के निर्माण कार्य में खतरा मंडरा रहा है, क्योंकि जिस कंपनी ने शिवधाम के निर्माण का कार्य लिया हुआ है, उस कंपनी द्वारा मजदूरों को समय पर वेतन नहीं दिया जा रहा है और शिवधाम में कार्य कर रहे मजदूरों ने पलायन करना शुरू कर दिया है। मजदूरों का पलायन करने का मुख्य कारण मजदूरों को समय पर वेतन व उचित मूलभूत सुविधाओं का न मिलना माना जा रहा है।
कांग्रेस के शहरी सचिव राजेंद्र मोहन ने कहा कि शिवधाम का कार्य जिस कम्पनी को दिया गया है उस कंपनी द्वारा मजदूरों का शोषण किया जा रहा है। मजदूरों की रहने व खाने की ठेकेदार द्वारा कोई व्यवस्था नहीं की गई, गत दिन पहले भी जिला प्रशासन के द्वारा मजदूरों को खाने पीने की व्यवस्था की गई थी और ठंड से बचने के लिए रेड क्रॉस सोसाइटी की तरफ से कंबल वितरित किए गए थे।
मजदूरों और इंजीनियरों के वेतन नहीं मिलने के आरोप
उन्होंने प्रदेश सरकार और कंपनी पर आरोप लगाए है कि अभी तक शिवधाम में कार्य कर रहे 8 से 10 इंजीनियरों को 8 महीने का वेतन नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि जब इंजीनियरों को वेतन नहीं दिया जा रहा है तो मजदूर किस हाल में अपना गुजारा करते होंगें। उन्होंने कहा कि अब तक 50 के करीब मजदूर अपने घरों या दूसरी जगह काम करने के लिए पलायन कर गए हैं और धीरे धीरे यह संख्या दिन- प्रतिदिन बढ़ती जा रही है।
मजदूरों का पलायन करने का मुख्य कारण पूरा वेतन न दिया जाना रहा है। राजेंद्र मोहन ने बताया कि कंपनी द्वारा मजदूरों को तीन महीने का वेतन देना था। परंतु उन्हें एक महीने का वेतन कंपनी द्वारा दिया गया, जिसके चलते मजदूरों ने पलायन करना शुरू कर दिया है। उन्होंने श्रम अधिकारी मंडी से आग्रह किया है कि शिवधाम में कार्य कर रहे मजदूरों की स्थिति का जायजा लिया और तुरंत कंपनी के ऊपर कार्यवाही अमल में लाई जाए।
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