झारखंड एक तरफ रोज जहां सक्रमित मरीज के मिलने का आंकड़ा डरा रहा है तो इन सबके बीच राहत की भी बात है। जितने संक्रमित मिल रहे हैं, उसका 70 प्रतिशत से ज्यादा रोगी स्वस्थ हो रहे हैं। पिछले पांच दिनों में रांची में कुल 7271 संक्रमितों की पुष्टि हुई।
वहीं, ठीक होने वालों की संख्या इससे करीब आधी रही। 8 से 12 जनवरी तक 3303 लोग कोरोना को मात देकर ठीक हो चुके हैं। जबकि, दूसरी लहर में 5 दिन में ओवरऑल रिकवरी 33.63 प्रतिशत थी। वहीं इस बार राज्य का ओवरऑल रिकवरी रेट 90% से ज्यादा है।
एक्सपर्ट डॉक्टरों की मानें तो तीसरी लहर में सिवयरिटी कम रही। लोग एक सप्ताह में निगेटिव होते गए तो जितनी तेजी से संक्रमण का ग्राफ बढ़ रहा है, उतनी ही तेजी से एक्टिव केस भी कम होते जाएंगे। यदि फरवरी के पहले सप्ताह में संक्रमण पीक पर रहेगा तो उसके एक सप्ताह बाद से ग्राफ लगातार डाउन होता चला जाएगा।
ठीक होने के लिए जांच की बाध्यता समाप्त कर दी गई
अच्छी बात यह है कि पॉजिटिव होने के लिए जांच जरूरी है, लेकिन ठीक होने के लिए जांच की बाध्यता को खत्म कर दी गई है। ICMR की गाइडलाइन के अनुसार अब संक्रमण के 7वें दिन अगर किसी तरह का कोई लक्षण नहीं है, ताे आप बिल्कुल सामान्य हैं। बगैर जांच के ही खुद को निगेटिव मान लें।
डेथ रेट भी 0.02%
इस बार कोरोना से डेथ रेट भी 0% के बराबर है। 8 से 11 जनवरी तक जिले की मृत्यु दर शून्य रही। बुधवार को 2 मौत के साथ मृत्यु दर 0.15% हो गया। इधर, पिछले पांच दिनों का ओवरऑल डेथ रेट देखे तो यह 0.02% है।
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