अशोकनगर में शनिवार को नेशनल लोक अदालत का आयोजन किया गया। जिसमें वर्षों से चल रहे आपसी विवादों का निराकरण किया गया। इस नेशनल लोक अदालत में बरसों से दूर रह रहे दो दंपत्तियों को मिला दिया और वह अपने घर चले गए।
हंसी खुशी हुआ निराकरण
जिला अशोकनगर के परिवार न्यायालय में महिला द्वारा अपने पति और ससुराल जनों पर मुकदमा कायम किया गया था। मुकदाम काफी लंबे समय से परिवार न्यायालय में लंबित था। जिसे शनिवार को जिला एवं सत्र न्यायालय में आयोजित लोक अदालत की खण्डपीठ क्रमांक 1 में निराकरण हेतु रखा गया। पक्षकारों को समझाइश देने पर पति-पत्नी आपसी मतभेद छोड़कर एक साथ रहने पर सहमत हुए। खुशी-खुशी दोनों एक-दूसरे को फूल माला पहनाकर, मिठाई खिलाकर न्यायालय से अपने घर को विदा हुए।
भटक रही महिला को मिला न्याय
गृहस्थी के छोटे-मोटे विवाद को लेकर पति-पत्नी में आपसी विवाद हुआ था। पति ने पत्नी को घर से निकाल दिया था। समस्त प्रकार की घरेलू हिंसा की प्रताड़ना के कारण राम बाई (परिवर्तन नाम) ने सूरजभान (परिवर्तित नाम) पर कुटुम्ब न्यायालय में 125 और घरेलू हिंसा अधिनियम अंतर्गत दावा प्रस्तुत किया। जिसके फलस्वरूप सूरभान ने किसी भी प्रकार के घरलू हिंसा न करने और पत्नी को सामाजिक दांपत्य जीवन निर्वाह करने की शर्त पर दोनों खुशी-खुशी न्यायिक रूपी सांकेतिक पौधा लेकर घर को रवाना हुए।
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