टाइगर स्टेट मध्यप्रदेश में बालाघाट बाघों के लिए अपनी अलग पहचान रखता है। इस पहचान को यंग जनरेशन तक पहुंचाने और इसकी अहमियत समझाने के लिए इन दिनों अनोखे प्रयास हो रहे हैं। नगर पालिका की पहल पर शहर के मोती गार्डन में प्लास्टिक वेस्ट से मुन्ना टाइगर और मशरूम की रेप्लिका (प्रतिकृति) तैयार की गई हैं। कान्हा नेशनल पार्क का मुन्ना टाइगर (टी-17) मशहूर रहा है। दरअसल, नगर पालिका बालाघाट ने स्वच्छता अभियान के तहत लोगों को अवेयर करने प्लास्टिक से आर्ट पीस बनाने का अभियान शुरू किया है।
इस आर्ट पीस को लांजी की आर्टिस्ट रानी मडामे ने तैयार किया है। वेस्ट प्लास्टिक से तैयार ये आर्ट वर्क उनके करियर की पहली कलाकृति है।
दो हफ्ते में तैयार किया आर्ट पीस
2021 में खैरागढ़ यूनिवर्सिटी से बैचलर और मास्टर ऑफ फाइन आर्ट इन स्कल्पचर विषय में पढ़ाई कर चुकीं लांजी की आर्टिस्ट रानी मडामे ने बताया कि मोती गार्डन में टाइगर और मशरूम की रेप्लिका बनाने में उन्हें करीब दो हफ्ते का समय लगा। इसके लिए करीब 5 क्विंटल वेस्ट पॉलीथिन और 4 से 5 हजार खराब प्लास्टिक बोतल इस्तेमाल की गई है, जो कचरे के ढेर में पड़े-पड़े पर्यावरण को दूषित कर रही थी।
मुन्ना की एक तस्वीर कि लिए करते थे लंबा इंतजार
टूरिज्म प्रमोशन काउंसिल के मेंबर रवि पालेवार ने बताया कि मुन्ना नामक टाइगर कान्हा नेशनल पार्क की पहचान था, जिसकी अधिक उम्र के बाद मृत्यु हो गई थी। बताया गया कि इसे टी-17 और बिग डैडी के नाम से भी जाना था। खास बात यह है कि मुन्ना की एक तस्वीर लेने के लिए देश-विदेश के बड़े-बड़े फोटोग्राफरों को अच्छे एंगल के लिए लंबा इंतजार करना पड़ता था।
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