मेट्रोपोलिटन सिटी भोपाल में पुलिस कमिश्नर सिस्टम शुरू हुए एक महीने से ज्यादा हो गया है। सभी अधिकारियों के ऑफिस भी तय हो चुके हैं। लेकिन अभी भी दो अधिकारियों के ऑफिस के रिनोवेशन का काम खत्म नहीं हुआ, जिस कारण एडिशनल डीसीपी जोन-टू अपने पुराने ही ऑफिस में बैठ रहे हैं, जबकि डीसीपी इंटेलीजेंस के बैठने की अस्थाई व्यवस्था की गई है।
वहीं, डीसीपी क्राइम का ऑफिस पुराने शहर में होने के कारण उन्हें अपने अधीनस्थों से तालमेल स्थापित करने के लिए एमपी नगर स्थिति क्राइम ब्रांच में ही बैठना पड़ रहा है। एडि. डीसीपी जोन-2 राजेश सिंह भदौरिया का ऑफिस पुराना गोविंदपुरा थाना तय हुआ है। इसी तरह डीसीपी इंटेलीजेंस का ऑफिस पुराना पुलिस कंट्रोल रूम तय है। यहीं एडिशनल डीसीपी इंटेलीजेंस का ऑफिस होगा। इन तीनों ऑफिसों के भी रिनोवेशन का काम अभी जारी है।
अभी पुराने सचिवालय में है डीसीपी क्राइम का ऑफिस
डीसीपी क्राइम अमित कुमार का ऑफिस पुराना सचिवालय है। एमपी नगर में थाना क्राइम ब्रांच में ही एडि. डीसीपी क्राइम एवं एसीपी क्राइम को बैठना है। ऐसे में अधीनस्थों को डीसीपी तक पहुंचने में आधा घंटे का समय लगेगा। यही कारण है कि डीसीपी क्राइम को क्राइम ब्रांच के ऑफिस में अधिक समय गुजारना पड़ रहा है।
Copyright © 2022-23 DB Corp ltd., All Rights Reserved
This website follows the DNPA Code of Ethics.