मध्य प्रदेश के रायसेन में उपद्रव का सच:दो गांवों के बीच रास्ते की लड़ाई में 8 गांव कूद पड़े; पुलिस के सामने लोगों को रौंदा जाने लगा, वाहन जला दिए

रौनक भैड़ा/हिना ओझा (भोपाल)एक वर्ष पहले

मध्य प्रदेश के रायसेन में 18 मार्च को हुए उपद्रव की वजह दो गांवों के बीच रास्ते की लड़ाई बताई जा रही है। एक गांव खमरिया खुर्द और दूसरा चंदपुरा है। दोनों के बीच करीब 2 किलोमीटर की दूरी है। खमरिया खुर्द एक समुदाय विशेष बहुल गांव है। चंदपुरा गांव का रास्ता खमरिया खुर्द से होकर निकलता है। इस रास्ते को लेकर अकसर विवाद होते रहे हैं। 18 मार्च को विवाद ने हिंसक रूप ले लिया।

18 मार्च की शाम 6 बजे चंदपुरा के तीन लड़के अखिलेश, जगदीश और रमन प्रतापगढ़ से किराना सामान खरीदकर बाइक से घर लौट रहे थे। वो पान मसाला खाने के लिए खमरिया खुर्द के यात्री प्रतीक्षालय के पास रुक गए। उन्होंने बाइक सड़क पर खड़ी कर दी। खमरिया खुर्द के युवकों ने उनसे बाइक हटाने को कहा। इस बात को लेकर विवाद हो गया, जो मारपीट में बदल गया।

पिटाई में घायल चंदपुरा के लड़कों ने अपने गांव में इस घटना की सूचना भिजवाई। इसके बाद चंदपुरा समेत आसपास के 6 गांवों के लोगों ने खमरिया खुर्द को घेर लिया। सुलह की कोशिश भी हुई, लेकिन किसी ने खमरिया खुर्द के लोगों को भड़का दिया। इस तरह दो पक्ष आमने-सामने आ गए। देखते ही देखते फायरिंग, आगजनी और पथराव होने लगा। इस उपद्रव में गोली लगने से राजू आदिवासी की मौत हो गई। 38 लोग घायल हो गए।

पुलिस के सामने हुआ खूनी संघर्ष
चंदपुरा और खमरिया खुर्द गांव के झगड़े में पोनार, चैनपुरा, पोंडी, मरहटी, सालाबर्रू और सर्रा गांव के लोग भी शामिल हो गए। इस बवाल की सूचना मिलते ही सिलवानी थाना पुलिस मौके पर पहुंची, लेकिन संख्या बल कम होने से वो हालात को संभाल नहीं सकी। पुलिस के सामने ही बवाल होता रहा। लोगों ने वाहनों से एक-दूसरे को कुचलने की कोशिश की। कई वाहनों में आग लगा दी गई। पुलिस ने दैनिक भास्कर की टीम को बताया कि घटना के बाद अतिरिक्त पुलिस बल को मौके पर बुलाया गया। साथ ही घायलों को एम्बुलेंस से अस्पताल में भर्ती करवाया गया। पुलिस के मुताबिक खमरिया खुर्द और चंदपुरा के रास्ते में कई लोग घायल पड़े मिले थे।

प्रशासन ने ढहाए मकान और दुकान

प्रशासन ने खमरिया खुर्द गांव में अतिक्रमण कर बनाए गए मकानों और दुकानों पर कार्रवाई की है। फिलहाल हालात सामान्य बताए जा रहे हैं। खमरिया खुर्द और आसपास के 7 से 8 गांवों में पुलिस बल तैनात किया गया है। प्रशासन को आशंका है कि फिर से उपद्रव हो सकता है। लिहाजा शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए कड़ी चौकसी की गई है।

उपद्रव में राजू आदिवासी की हत्या कर दी गई थी। उसके दो बेटी-एक बेटा है। छोटी बेटी अभी 8 महीने की ही है।
उपद्रव में राजू आदिवासी की हत्या कर दी गई थी। उसके दो बेटी-एक बेटा है। छोटी बेटी अभी 8 महीने की ही है।

बच्चों को स्कूल तक नहीं जाने देते

चंदपुरा के ग्रामीणों का आरोप है कि खमरिया खुर्द के लोग रास्ते को लेकर अकसर विवाद करते हैं। बच्चों को स्कूल नहीं जाने देते हैं। स्कूल भी उनके गांव में है। कई बच्चे पढ़ाई तक छोड़ चुके हैं। ग्रामीणों ने प्रशासन से उपद्रवियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग की है।

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