छरजिले में12 से14 साल तक के बच्चों की छुट्टियां होने से इनका पहले डोज का वैक्सीनेशन पूरी तरह से रुक गया है। वहीं जिला मुख्यालय के प्राइवेट अस्पतालों ने अब तब वैक्सीन नहीं मंगवाई है। इसलिए 18 साल से अधिक उम्र वाले व्यक्ति अपना बूस्टर (प्रीकॉशन) डोज नहीं लगाव पा रहे।
वहीं जागरूकता की कमी के चलते 17साल तक के किशोरों को लगाए जाने वाले दूसरे डोज का कार्य भी अधर में लटक गया है। जिले में कोरोना की तीसरी लहर का असर खत्म होते ही लोगों ने पहला,दूसरा और बूस्टर डोल लगवाना ही बंद कर दिया है।
अब आलम यह है कि प्रति केंद्र के हिसाब से 13 लोग ही पूरे दिन में वैक्सीनेशन कराने पहुंच रहे हैं। गुरुवार को स्वास्थ्य विभाग ने जिले के 150 केंद्रों पर वैक्सीनेशन किया। जिसमें 1982 लोगों ने अपना टीका लगवाते हुए वैक्सीनेशन कराया।
शनिवार को विभाग द्वारा 40 केंद्रों के माध्यम से जिलेभर में टीकाकरण किया गया, जिसमें मात्र 493 लोगाें ने अपना वैक्सीनेशन कराया। वहीं बूस्टर डोज के साथ 12 से 14 साल तक के बच्चों का वैक्सीनेशन पूरी तरह से बंद है। क्योंकि प्राइवेट अस्पताल संचालक वैक्सीन नहीं मंगवा रहे।
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