चंबल में डकैतों की आहट ने बीहड़ के 50 से ज्यादा गांवों के लोग खौफजदा हैं। किसान ने अकेले खेत जाना छोड़ दिया है। यह लगभग साफ हो गया है कि इस वक्त चंबल के बीहड़ में राजस्थान के केशव गुर्जर गैंग का मूवमेंट है।
झांसी से किडनैप के किए गए डॉक्टर को उसी को सौंपा जाना था, लेकिन अंधेरा होने के बाद गैंग के लोगों के सुस्ताने के चलते साजिश फेल हो गई। डॉक्टर चतुराई से घिसटते हुए बीहड़ से बाहर आकर बच गए। पिछले दो दिन में मुरैना के कुछ गांवों के आसपास हथियारबंद लोग दिखाई दिए हैं। इसने लोगों की टेंशन बढ़ा दी है।
मध्यप्रदेश की पुलिस यह मानने को तैयार नहीं है कि यहां केशव गुर्जर गिरोह का मूवमेंट है। इसके पीछे शिवराज सरकार के वे दावे हैं, जो बरसों से किए जा रहे हैं। इनमें वे कहते हैं कि मध्यप्रदेश से डाकुओं का सफाया कर दिया गया है। ताजा घटनाक्रम ने उनके दावों पर सवाल खड़े कर दिए हैं। साथ ही, पुलिस की 'जांच जारी' वाली परंपरागत शैली ने भी चिंता बढ़ा रखी है।
एमपी पुलिस अब मामले पर पर्दा डालने के लिए झांसी पुलिस का मामला बताने में लगी है। इधर, झांसी की पुलिस सोमवार को फिर से ग्वालियर आई। दतिया और मुरैना टोल बूथ से सीसीटीवी फुटेज भी जुटाए हैं। इस आधार पर जल्द खुलासा करने का दावा किया जा रहा है।
पहाड़गढ़ के दो गांव में हुई है फायरिंग
हाल में पता लगा है कि शुक्रवार-शनिवार दरमियानी रात जब झांसी के डॉक्टर का अपहरण कर बदमाश हिंगोना गांव के पास डेरा जमाए थे, तभी मुरैना जिले के पहाड़गढ़ के दो गांव गहरौली और कुशवानी से सटे जंगल में दो से तीन डकैतों की हलचल थी। इस पर गांव के लोगों ने फायरिंग भी की थी। इसके बाद वह भाग गए थे। अब जब झांसी के डॉक्टर के अपहरण का पता लगा, तो समझ आया कि यह डकैत गैंग होगी, जो अपहृत को लेने आई थी, लेकिन रात होने के कारण नहीं ले जा सकी। उससे पहले डॉक्टर छूट गया, पर घटना के बाद से क्षेत्र में दहशत का माहौल है।
बड़े डकैत यहां रहे
90 के दशक में ग्वालियर-चंबल के बीहड़ों का नाम अपहरण उद्योग के लिए चर्चित था, तब यहां कई कुख्यात गिरोह सक्रिय थे। इनमें कुछ बड़े नाम दयाराम-रामबाबू गड़रिया गिरोह, राजेन्द्र गुर्जर उर्फ गट्टा गिरोह, हजरत रावत गिरोह, प्रताप गड़रिया गिरोह इसे गड़रिया पार्ट-2 कहा जाता था, कल्ली गुर्जर, राजस्थान के धौलपुर का राजेन्द्र सेरोन, जगजीवन परिहार और निर्भय सिंह गुर्जर गिरोह समेत अन्य कई गिरोह सक्रिय थे। इनका काम ही ग्वालियर और चंबल के जिलों में आने वाले व्यापारी, डॉक्टर, इंजीनियरों का अपहरण कर करोड़ों रुपए की फिरौती वसूल करना होता था।
अभी डकैत केशव गुर्जर गिरोह सक्रिय
झांसी और मुरैना पुलिस की जांच में अभी तक यह बात निकल कर सामने आई है। झांसी से अपहरण किए गए डॉक्टर को बदमाश राजस्थान के डकैत गिरोह को सौंपने वाले थे। अभी बीहड़ में राजस्थान के 1.30 लाख रुपए के इनामी केशव गुर्जर का गिरोह सक्रिय है। बताते हैं, गिरोह में 5 से 7 सदस्य हैं। हथियारों में माउजर, अधिया के अलावा ऑटोमैटिक राइफल व देशी पिस्टल भी हैं।
चौथे दिन भी पुलिस खुलकर बोलने से बचती रही
आईजी चंबल जोन मनोज शर्मा का कहना है, झांसी के डॉक्टर का अपहरण हुआ था। मुरैना में उन्हें मुक्त कराया गया है। उनका अपहरण करने वाले कौन लोग हैं। यह जांच जारी है, जबकि झांसी के सीपरी थाना प्रभारी देवेन्द्र कुमार का कहना है कि फिरौती नहीं हुई है। गैंग का पता लगाया जा रहा है।
केशव गुर्जर पर करीब 18 मामले दर्ज
डकैत केशव गुर्जर लंबे समय से पुलिस की रडार पर है। तीनों राज्यों में केशव पर हत्या, लूट अपहरण जैसे 18 मामले दर्ज हैं। उस पर एमपी, यूपी और राजस्थान में कुल 1 लाख का इनाम घोषित है। गौरतलब है कि जिले में दस्यु उन्मूलन अभियान चलाया जा रहा है। करीब 5 महीने पहले केशव गुर्जर को हथियार एवं राशन सामग्री पहुंचाने वाले 4 लोगों को पुलिस ने गिरफ्तार किया था।
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