इंदौर में 3 फरवरी यानी आज से जैविक महोत्सव प्रारंभ होगा। यह महोत्सव से 6 फरवरी तक चलेगा। जी-20 समिट के संबंध में यह महोत्सव ग्रामीण हाट बाजार ढक्कनवाला कुआं मे आयोजित किया जा रहा है। इस महोत्सव का मुख्य उद्देश्य ‘स्वच्छ भारत के साथ स्वस्थ भारत’ भी है। महोत्सव जैविक खेती करने वाले किसानों एवं ग्राहक के बीच में एक सेतु का काम करेगा ताकि ग्राहकों को केमिकल फ्री एग्रीकल्चर प्रॉडक्ट्स व किसानों को उचित मूल्य मिल सके।
एग्रीकल्चर टेक्नोलॉजीं मैनेजमेंट इंस्टिट्यूट की डायरेक्टर शर्ली थामस ने बताया कि महोत्सव के दौरान किसान एवं कंपनियों द्वारा हाट लगाया जाएंगा। तीनों दिन संगोष्ठी का आयोजन होगा जिसमें मुख्यत: गो आधारित खेती, जैविक जीवन शैली एवं स्वस्थ भोजन पर संवाद होगा। पोहा, बाजरा और इससे बने खाद्य पदार्थों को प्रदर्शित करने के लिए स्टॉल होंगे जबकि औषधीय पौधों और जैविक फसलों व अनाज से बने खाद्य तेलों की जानकारी भी दी जाएगी। उन्होंने बताया कि स्कूल और कॉलेज के छात्रों को जैविक खेती के बारे में जानने के लिए आमंत्रित किया गया है ताकि रासायनिक आधारित कृषि खेती को बढ़ावा दिया जा सके। यह पर्यावरण के लिए अच्छा है।
जी-20 समिट के बारे मे होगी चर्चा
पहले दिन 3 फरवरी को डॉ. खादखली (मिलेट मैन ऑफ इंडिया) तथा मशरूम के क्षेत्र में ख्याति प्राप्त बीनादेवी सम्मेलन में भाग लेंगी। इसमें इंदौर में होने वाले जी-20 समिट के बारे में भी चर्चा की जाएगी। मिलेट फसलों को भोजन में शामिल करने के लाभ बताए जाएंगे। किसानों को मिलेट के लिए अच्छा बाजार एवं भाव मिल सके, इसकी जानकारी दी जाएगी। प्रतिदिन शाम को सांस्कृतिक कार्यक्रम का आयोजन होगा।
जैविक खेती के लिए डेढ़ हजार किसानों ने कराया रजिस्ट्रेशन
इस बीच, इंदौर व मालवा-निमाड़ के किसानों ने प्राकृतिक खेती को लेकर कुछ दिलचस्पी दिखानी शुरू कर दी है। पिछले आठ माह में डेढ़ हजार से ज्यादा किसानों ने जैविक फसलों की खेती के लिए कृषि विभाग में रजिस्ट्रेशन कराया है। कृषि अधिकारियों का मानना है कि इतनी ही संख्या में ऐसे किसान भी हैं जिन्होंने रजिस्ट्रेशन नहीं कराया, लेकिन वे जैविक खेती पर काम कर रहे हैं।
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