खिलौने से पहचानी वाहनों की आवाज:ट्रैफिक पुलिस के सवाल और चार साल के मिहिर के जवाब, देखें वीडियो

इंदौर7 महीने पहले
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शहर की यातायात व्यवस्था को बेहतर करने के लिए लगातार प्रयास किए जा रहे है। इसी कड़ी में सड़क सुरक्षा जागरूकता के आउटडोर प्रशिक्षण के तहत रेसीडेंसी स्थित यातायात पार्क में स्कूली बच्चों की पाठशाला लगी, जिसमें खिलौने के जरिए वाहन और उनकी ध्वनियों को बच्चों ने पहचाना और बड़ों से यातायात नियमों का पालन करने की अपील की। इस दौरान पाठशाला में आरक्षक सुमन्त सिंह कछावा ने बच्चों को रोड सेफ्टी रूल्स सिखाए और उनकी जानकारी दी। इस दौरान सुमन्त ने केजी टू में पढ़ने वाले चार साल के मिहिर मारोठिया से नियमों को लेकर सवाल पूछे, जिसके सही-सही जवाब मिहिर ने दिए। जिसका वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।

दरअसल, किसी खेल के माध्यम से बच्चों को कोई बात सिखाई जाए तो बच्चे उसे आसानी से समझ सकते हैं। वजह यह है कि बच्चों की रुचि हमेशा नए-नए खेल खेलने में अधिक होती है। ऐसे में बच्चों के लिए रोड सेफ्टी एक्टिविटी व गेम्स उन्हें यातायात के नियम सिखाने में काफी मदद कर सकते हैं। इसके लिए ट्रैफिक पुलिस आउटडोर एक्टिविटी के तहत यातायात पार्क का भ्रमण करवा रही है, जहां बच्चों के साथ यातायात और सड़क सुरक्षा से जुड़े नियमों के बारे में बातचीत कर सवाल-जवाब किए जा रहे है जैसे, सड़क कब पार करनी चाहिए या सड़क पार करते समय उन्हें किस तरफ देखना चाहिए। बाइक चलाते समय क्या पहनना चाहिए और कार चलाते समय क्या लगाया जरूरी है।

स्कूली स्टूडेंट के लिए इंडोर और आउटडोर कैंपेन
ट्रैफिक डीसीपी महेश चंद जैन के निर्देशन में स्कूली छात्र-छात्राओं को सड़क सुरक्षा नियमों के बारे में जागरूक करने के उद्देश्य से लगातार कार्यक्रम हो रहे हैं। जिसके लिए ट्रैफिक पुलिस इंडोर और आउटडोर जागरूकता कैंपेन भी चला रही है। ट्रैफिक पुलिस ने नर्सरी, केजी वन और केजी टू के बच्चों को अभियान के तहत यातायात पार्क का भ्रमण करवाया।

रेसीडेंसी स्थित यातायात पार्क में मौजूद बच्चे।
रेसीडेंसी स्थित यातायात पार्क में मौजूद बच्चे।

ट्रैफिक सिग्नल व संकेतों का अर्थ समझाया
यातायात का सबसे पहला नियम ट्रैफिक सिग्नल से शुरू होता है। बच्चों को ट्रैफिक की तीन लाइट और उनका अलग-अलग अर्थ बताया गया।

रुको, देखो और फिर सड़क पार करो
सड़क पर जाने व सड़क पार करने से पहले सुरक्षित स्थान पर रुकना, सड़क के दाईं व बाईं तरफ देखना। अगर इस दौरान सड़क पर कोई वाहन तेज गति में है तो उसके जाने तक रूकना और जल्दबाजी नहीं करना, इसके बाद सड़क पार करने जैसी जानकारी दी गई।

वाहनों की ध्वनि पर ध्यान देना
वाहनों की ध्वनि को पहचानने के लिए खिलौनों व सड़क पर चल रहे वाहनों को दिखा कर वाहनो में अंतर व पहचान बताई गई।

सड़क पर दौड़ें नहीं
बच्चों को हर काम करने में थोड़ी जल्दी होती है। इसी वजह से वह सड़क पार करते समय या पार्क में जाते समय दौड़ सकते हैं। इस स्थिति में सड़क दुर्घटना होने का जोखिम अधिक रहता है। इसलिए बच्चे को बताया गया कि सड़क पर चलते समय या सड़क पार करते समय दौड़े नहीं।

वाहन के बाहर हाथ न निकालें
बस, कार, ट्रेन या अन्य वाहन में बैठने पर अक्सर बच्चे जिद करते हैं कि उन्हें खिड़की वाली सीट चाहिए, ताकि वे बाहर का नजारा देख सकें। इस दौरान वे अपना हाथ भी खिड़की के बाहर कर सकते हैं, जो बेहद खतरनाक होता है।

ये भी जानकारी दी

- स्कूल जाने या घूमने-फिरने के दौरान या साइकिल चलाते समय राहगीरों से बात न करें और सड़क पर आ रहे वाहनों का भी ध्यान रखें।

- बस के अंदर दौड़ने का प्रयास नहीं करना चाहिए। - वाहन के रुकने के बाद ही चढ़ना और उतरना। स्कूल बस या अन्य किसी वाहन के रुकने के बाद ही बच्चे को उसमें चढ़ना या फिर उससे उतरना चाहिए। चलते वाहन में चढ़ने या उससे उतरने का प्रयास दुर्घटना का कारण बन सकता है। - स्कूल बस का इस्तेमाल हमेशा लाइन में रहकर करें, इस बात का ध्यान बच्चे को वाहन में चढ़ते और उतरते, दोनों ही समय रखना चाहिए।