मध्य प्रदेश में कोरोना संक्रमण फैलने की रफ्तार तेज हो गई है। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह ने शुक्रवार देर शाम मंत्रालय में समीक्षा बैठक बुलाई थी। इसमें तय किया गया, इंदौर और भोपाल में हॉल में होने वाले कार्यक्रमों में क्षमता से 50% तक लोगों के शामिल होने की अनुमति रहेगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि दोनों शहरों में 14-15 मार्च से नाइट कर्फ्यू लगाने पर विचार किया जाए।
बैठक में यह भी तय किया गया, जिन जिलों में 10 या उससे अधिक केस सामने आ रहे हैं, वहां बाजारों में भीड़ को नियंत्रित करने की जरूरत है। इसके लिए दुकानों में सोशल डिस्टेंसिंग का पालन कराने के लिए रस्सी बांधना अनिवार्य किया जाएगा। बैठक में बताया गया कि भोपाल, इंदौर, ग्वालियर, जबलपुर, रतलाम, बैतूल, बुरहानपुर, छिंदवाड़ा, सागर, उज्जैन, खरगोन और रीवा में रोजाना 10 अधिक केस आ रहे हैं।
बता दें, पिछले 24 घंटे में 603 नए पॉजिटिव केस सामने आए हैं। इनमें सबसे ज्यादा इंदौर में 219 व भोपाल में 138 संक्रमित मिले हैं। महाराष्ट्र में कोरोना जिस तरह से पैर पसार रहा है, उसका असर मध्य प्रदेश के करीब सात जिलों में देखा जा सकता है। बैठक में तय किया गया कि छिंदवाड़ा, बुरहानपुर,धार,सिवनी, बड़वानी, खरगोन और खंडवा जिले की सीमा में प्रवेश के दौरान लोगों की नेगेटिव रिपोर्ट दिखाने के बाद ही प्रवेश दिया जाए। इसके लिए चैकिंग अभियान चलाया जाए। इन जिलों में महाराष्ट्र से आने वाले ट्रैफिक को नियंत्रित करने पर भी बैठक में विचार किया गया।
मुख्यमंत्री ने गृह विभाग को निर्देश दिए हैं कि प्रदेश के लिए काेरोना के बढ़ते मामलों को ध्यान में रखकर नई SOP (स्टैंडर्ड ऑपरेटिंग प्रोसिजर) जारी करे। माना जा रहा है कि सरकार अब कोरोना संक्रमण से निपटने के लिए सख्ती करने की तैयारी कर रही है। बैठक में मुख्य सचिव इकबाल सिंह बैस, डीजीपी विवेक जौहरी, अपर मुख्य सचिव गृह डाॅ. राजेश राजौरा और स्वास्थ्य विभाग के अपर मुख्य सचिव मोहम्मद सुलेमान मौजूद रहे।
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