पूर्व शिक्षा मंत्री व अजमेर उत्तर के विधायक वासुदेव देवनानी ने बयान जारी कर कहा कि राजस्थान की कांग्रेस सरकार ने बेरोजगार युवाओं का भविष्य चौपट करने के सिवाय कोई काम नहीं किया है। ना रोजगार, ना ही रोजगार भत्ता दे पाई है। भर्ती परीक्षाओं के पेपर लीक होने से युवाओं का भविष्य अंधकारमय होता जा रहा है। देवनानी ने कहा कि देश में औसतन 6.7 प्रतिशत बेरोजगारी है। लेकिन देश में सबसे ज्यादा 32 प्रतिशत बेरोजगारी राजस्थान में है। कांग्रेस ने पिछले विधानसभा चुनावों में बेरोजगारी खत्म करने का वादा किया था, लेकिन चार साल में मात्र 1.20 लाख ही रोजगार दे पाई है।
देवनानी ने कहा कि सरकारी नौकरियां और अन्य रोजगार नहीं मिलने से युवाओं में भविष्य को लेकर अंधकारमय स्थिति बनी हुई है। एक भी भर्ती समय पर पूरी नहीं हो पा रही है, जिससे अनेक युवा ओवर एज होने के कारण परेशान हो रहे हैं। आए दिन भर्ती परीक्षाओं के पेपर लीक होने से युवाओं की दिन-रात की मेहनत पर पानी फिर जाता है और उनकी सारी उम्मीदें टूट जाती हैं। उन्होंने कहा कि पेपर लीक में माफिया सक्रिय हैं। कांग्रेस सरकार और माफियाओं की मिलीभगत व उनकी करतूतों का खामियाजा युवा बेरोजगार भुगत रहे हैं।
पेपर लीक में सरकार और राजनीतिक संरक्षण
देवनानी ने कहा कि कांग्रेस सरकार ने अब तक ऐसी कोई ठोस व्यवस्था नहीं की, जिससे पेपर लीक होने की घटनाओं में रोक लगे और निर्विध्न परीक्षाएं होकर समय पर परिणाम निकल सकें। उन्होंने कहा कि अनेक भर्तियों में परीक्षाएं आवेदन मांगने के दो साल बाद कराई गई हैं, जिसका ताजा उदाहरण वनपाल और वनरक्षक भर्ती परीक्षाएं हैं। इसमें भी वनरक्षक भर्ती का पेपर लीक हो गया। जिन अभ्यर्थियों ने पहले परीक्षा दी थी, उन्हें परीक्षा की तैयारी के लिए फिर से समय और श्रम खपाना पड़ रहा है। उन्होंने कहा कि यदि सरकार ठोस कदम उठा लेती, तो ना पेपर लीक होते और ना ही दोबारा परीक्षा कराने की नौबत आती। इसी प्रकार रीट परीक्षा का भी पेपर लीक हुआ। हालांकि सरकार ने दोबारा परीक्षा तो करा ली, किंतु पेपर लीक के बड़े दोषियों के खिलाफ आज तक कोई कार्यवाही नहीं हुई। ऐसे लोगों को सरकार और राजनीतिक संरक्षण मिला हुआ है।
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