तीन पीढियों संग पहली बार मंच पर उतरी पद्मश्री गुलाबो:16 किलो की आकर्षक पोशाक, सोने और चीड़ के गहने पहने

अजमेर7 महीने पहले
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  • सांस्कृतिक संध्या में कालबेलिया-घूमर पर जमकर बटोरी तालियां

पर्यटन विभाग की ओर से आयोजित पुष्कर मेले की सांस्कृतिक संध्या में शनिवार को पहली बार पद्मश्री कालबेलिया नृत्यांगना गुलाबो सपेरा अपनी तीन पीढ़ियों के साथ रंगारंग प्रस्तुतियां दी। जैसे ही गुलाबो, अपनी बेटी राखी, पूनम, हेमलता और रूपा के साथ ही छह वर्षीय पोती तिया और दस वर्षीय माही के साथ खचाखच भरे मेला स्टेडियम के रंगमंच पर पहुंचीं, आयोजन स्थल तालियों से गूंज उठा। गुलाबो ने कालबेलिया, घूमर, बंजारा से लेकर भवई नृत्य पर एक से बढ़कर एक प्रस्तुतियां दी।

16 किलो की आकर्षक पोशाक, सोने और चीड़ के गहने

गुलाबो ने इस कार्यक्रम के लिए 16 किलो की पोषाक तैयार करवाई। इसके साथ सोने और चीड़ से बने गहने पहनकर प्रस्तुतियां दी। गुलाबो ने अपने उद्बोधन में कहा कि उसने सबसे पहले 1981 में पुष्कर के इसी मैदान से पहला कार्यक्रम प्रस्तुत किया और अब तक 165 देशों में अपनी प्रस्तुति दे चुकी हैं। आज वह अपनी 6 साल की पोती समेत तीन पीढ़ियों के साथ पहली बार पुष्कर पहुंची हैं।

गुलाबो के साथ जयपुर से 20 से अधिक लोक कलाकारों का ग्रुप

पुष्कर मेले के लिए गुलाबो के साथ जयपुर से 20 से अधिक लोक कलाकारों का ग्रुप पहुंचा था। इनमें 10 से ज्यादा नृत्यांगनाएं शामिल थीं, शो के दौरान इनमें से कई ने अकेले प्रस्तुति देकर दर्शकों की खूब वाहवाही लूटी। इस ग्रुप ने कालबेलिया के अलावा मंच पर घूमर, चरी, बंजारा, भवई, मयूर और घूमर नृत्य पेश किया। वहीं गुलाबो ने काल्यो कूद पड्यो मेला में... राजस्थानी गीत पर थिरक कर देशी-विदेशी दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर • दिया।

यह मंच नहीं बल्कि मेरे लिए मंदिर-गुलाबों

गुलाबों ने कहा कि यह मंच नहीं बल्कि मेरे लिए मंदिर है। इससे पूर्व पुष्कर की ओडिसी नृत्यांगना अक्षिता भट्ट ने भी शानदार प्रस्तुति दी। सांस्कृतिक संध्या में अमेरिकी दूतावास की अधिकारी पेट्रीसिया लैसाना, कलेक्टर अंशदीप समेत अनेक अधिकारी मौजूद रहे। एसडीओ सुखाराम पिंडेल, पर्यटन विभाग के निदेशक संजय जौहरी ने गुलाबो का स्वागत किया। संचालन वर्तिका शर्मा ने किया।

गुलाबो का जीवन परिचय...

  • 9 नवंबर 1970 को अजमेर के कोटडा में जन्म।
  • धनतेरस के दिन जन्म होने से नाम रखा धनवंतरी।
  • साल 2016 में पद्मश्री से सम्मानित।
  • डॉक्टरेट की उपाधि और भारत गौरव मिला।
  • दुनिया के 165 देशों में कर चुकी परफोरमेंस।
  • गुलाबों पर कई डाक्युमेंट्री बनी और किताबें भी लिखीं।
  • फेमस टीवी शो बिग बॉस में भी दिख चुकी।
  • बॉलीवुड के कई स्टार्स के साथ परफोर्म कर चुकी।
  • दो बेटियां जो राजस्थानी फिल्म इंडस्ट्री में काम करती।

PHOTOS में देखें सांस्कृतिक संध्या...

सांस्कृतिक संध्या में गुलाबों ने अपनी तीन पीढियों के साथ मंच पर उतर दी प्रस्तुति, श्रोता हुए मंत्रमुग्ध।
सांस्कृतिक संध्या में गुलाबों ने अपनी तीन पीढियों के साथ मंच पर उतर दी प्रस्तुति, श्रोता हुए मंत्रमुग्ध।
मुंह से आग के गोले फेंककर कलाकारों ने किया रोमांचित।
मुंह से आग के गोले फेंककर कलाकारों ने किया रोमांचित।
गुलाबों के साथ साथी कलाकारों ने अपनी प्रस्तुति देकर समा बांध दिया।
गुलाबों के साथ साथी कलाकारों ने अपनी प्रस्तुति देकर समा बांध दिया।
कालबेलिया-घूमर नृत्यने देशी ही नहीं बल्कि विदेशी पर्यटकों को भी झूमने पर मजबूर किया।
कालबेलिया-घूमर नृत्यने देशी ही नहीं बल्कि विदेशी पर्यटकों को भी झूमने पर मजबूर किया।
एक से बढ़कर एक प्रस्तुतियों ने दर्शकों को बांधे रखा।
एक से बढ़कर एक प्रस्तुतियों ने दर्शकों को बांधे रखा।
गुलाबों ने अपनी प्रस्तुति दी तो मेला मेदान तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा।
गुलाबों ने अपनी प्रस्तुति दी तो मेला मेदान तालियों की गड़गड़ाहट से गूंज उठा।

जमीन में दफनाया, जिंदा निकली तो डायन नाम दिया:गुलाबो बोलीं- लोगों से लड़ी, ताने सहे, लेकिन डांस करती रही; अब स्टार

पुष्कर मेले के दौरान लगे चकरी-झूले। रात के समय ड्रोन से लिया गया नजारा।
पुष्कर मेले के दौरान लगे चकरी-झूले। रात के समय ड्रोन से लिया गया नजारा।
रात के समय दूधिया रोशनी में नहाया हुआ पुष्कर व लाइटिंग से सजा सरोवर।
रात के समय दूधिया रोशनी में नहाया हुआ पुष्कर व लाइटिंग से सजा सरोवर।

इनपुट-अभिषेक शर्मा, पुष्कर

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