कैदी नंबर: 260
नाम: रियाज
कैदी नंबर: 261
नाम: गौस मोहम्मद
राजस्थान के अजमेर में हाई सिक्योरिटी जेल में बंद कन्हैया लाल हत्याकांड के ये दोनों आरोपी अब भगत सिंह की बायोग्राफी पढ़ रहे हैं। अपने बीवी-बच्चों से मिलने के लिए रोज फूट-फूटकर रोते हैं, लेकिन आज तक परिवार का एक भी शख्स इनसे मिलने जेल में नहीं आया है।
रियाज और गौस के अलावा कन्हैया लाल हत्याकांड के बाकी 7 आरोपी भी इसी जेल में कैद हैं। उन्हें भी महापुरुषों की किताबें पढ़ने के लिए दी जा रही हैं।
भास्कर रिपोर्टर ने थ्री लेयर सुरक्षा वाली अजमेर जेल के सुपरिंटेंडेंट पारिस जांगिड़ से बातचीत कर कैदियों की हर एक्टिविटी के बारे में जाना...
जेल सुपरिंटेंडेंट ने बताया कि उदयपुर हत्याकांड मामले में गिरफ्तार 9 आरोपियों को सुरक्षा कारणों के चलते हाई सिक्योरिटी जेल में शिफ्ट किया गया है। इन सभी कैदियों को व्यस्त रखने के लिए महापुरुषों और गणमान्य नेताओं की किताबें पढ़ने के लिए दी जा रही हैं, जिससे कि वे अपने खाली समय का भरपूर इस्तेमाल करें और अपनी मानसिकता में एक सकारात्मक बदलाव लाएं।
मुख्य आरोपियों से मिलने कोई नहीं आता
मुख्य आरोपी रियाज व गौस मोहम्मद जेल की काली कोठियों में परिवार से मिलने के लिए तड़प रहे हैं। अब तक उनके परिवार से कोई भी उनसे मिलने के लिए नहीं पहुंचा है। बुधवार और रविवार को ही आरोपियों को परिवार वालों से मिलने दिया जाता है।
सभी आरोपी जेल में फूट-फूटकर रोते हैं। 9 आरोपियों में से 7 आरोपियों को पश्चाताप है। यहां तक कि बाकी सातों आरोपी हत्याकांड के मास्टरमाइंड को दिनभर कोसते हैं। गौस मोहम्मद और रियाज की बॉडी लैंग्वेज अभी वैसी ही है। अभी तक दोनों में पश्चाताप नजर नहीं आया है। हालांकि, वे महापुरुषों की बुक लगातार पढ़ रहे हैं। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) के अधिकारी लगातार इन आरोपियों से जेल में पूछताछ करने के लिए आते हैं। 3 दिन पहले ही NIA अधिकारी जेल में आरोपियों से पूछताछ करके गए हैं।
एक बुक को तीन बार पढ़ते हैं कैदी
इस जेल में केवल हार्डकोर अपराधियों को ही रखा जाता है। कन्हैया लाल हत्याकांड के आरोपियों पर ज्यादा फोकस रखा जाता है। एक बुक को सभी कैदी तीन बार पढ़ते हैं, जिससे कि उस किताब को पढ़कर उनकी मानसिकता और बॉडी लैंग्वेज में बदलाव हो सके। जेल का स्टाफ इन्हें लाइब्रेरी से अलग-अलग बुक्स लाकर देता है। बुक को पढ़ने के बाद अधीक्षक, जेल सुपरिंटेंडेंट व अन्य स्टाफ बुक के बारे में पूछते भी हैं कि उन्होंने इस बुक में क्या पढ़ा और उन्होंने इससे क्या सीखा।
रियाज को दूसरा कैदी पढ़कर सुना रहा किताबें
हत्याकांड का मुख्य आरोपी रियाज मोहम्मद पढ़ा-लिखा नहीं है। उसके लिए जेल प्रशासन ने व्यवस्था की है। जांगिड़ ने बताया कि जो कैदी पढ़-लिख नहीं सकता, उसके लिए उसके वार्ड का एक कैदी लगाया जाता है। जब रियाज सुबह 1 घंटे के लिए कोठरी से बाहर आता है, तब वह कैदी उसे उस बुक को पढ़कर सुनाता है।
CCTV की निगरानी में सभी आरोपी
जेल में सभी 9 आरोपी CCTV की निगरानी में है। उनके एक-एक पल पर नजर रखी जा रही है। वहीं, जेल प्रशासन जेल में और कैमरे भी लगवा रहा है।
जेल की दीवारों पर महापुरुषों के चित्र और स्लोगन
हाई सिक्योरिटी जेल में कैदियों को एक बेहतर वातावरण मिले और उनकी मानसिकता पर अच्छा प्रभाव पड़े, इसके लिए दीवारों पर महापुरुषों और राष्ट्रवाद से जुड़े नेताओं की पेंटिंग बनाई गई है। इसके साथ ही हर वार्ड के बाहर एक पॉजिटिव स्लोगन भी लिखा गया है। सभी आरोपी जेल के एक वार्ड की अलग-अलग कोठरियों में बंद हैं और बिना लाइट के 23 घंटे अकेले गुजारते हैं।
जेल में लाइब्रेरी, 500 से ज्यादा बुक्स
जेल सुपरिंटेंडेंट पारस जांगिड़ ने बताया कि हाई सिक्योरिटी जेल में राजस्थान जेल डीजी के निर्देशों पर लाइब्रेरी रूम बनाया गया है। 1 सितंबर 2022 से इसे शुरू किया गया। इसमें किशनगढ़ के मार्बल व्यवसायी के सहयोग से चार बुक्स रैक की व्यवस्था की गई है, जहां 530 से ज्यादा बुक्स रखी गई हैं।
लाइब्रेरी में इन महापुरुषों की बुक्स
पारस जांगिड़ ने बताया कि जेल में एपीजे अब्दुल कलाम, बिस्मिल्लाह खान, गोस्वामी तुलसीदास, कल्पना चावला, बिरसा मुंडा, संत रविदास, घनश्याम दास बिरला सहित कई महापुरुषों से संबंधित बुक्स रखी गई हैं।
100 से ज्यादा हार्डकोर अपराधी जेल में बंद
हाई सिक्योरिटी जेल में 100 से ज्यादा हार्डकोर अपराधी सजा काट रहे हैं। इनमें गैंगस्टर राजू फौजी, अनिल पहाड़िया, लॉरेंस और आनंद पाल गैंग के सदस्य, सुनील डूडी, डकैत जगन गुर्जर, गैंगस्टर वलबा राम, शिवराज बैंक भी शामिल हैं। इन सभी को महापुरुषों की बुक पढ़ने के लिए दी जाती हैं।
नूपुर शर्मा को धमकी देने वाला भी यहीं बंद
अजमेर में विश्व प्रसिद्ध ख्वाजा मोइनुद्दीन हसन चिश्ती की दरगाह के बाहर 'सिर तन से जुदा' के नारे लगाने वाले मुख्य आरोपी गौहर चिश्ती और उसका एक अन्य साथी भी इसी जेल में बंद है। इसके साथ ही नूपुर शर्मा का सिर अलग करने की धमकी देने वाला सलमान चिश्ती भी यहीं बंद है। इनको भी महापुरुषों की किताबें पढ़ने के लिए दी जा रही हैं। कहा जा रहा है कि सलमान के व्यवहार में काफी बदलाव आया है। उसने नशे से भी दूरी बना ली है।
ये भी पढ़ें
कन्हैयालाल का गला काटने वाला रियाज गिड़गिड़ा रहा: रोते हुए NIA से बोला- पत्नी से मिलना है, परिवार के बारे में बार-बार पूछ रहा
28 जून, दिन के करीब 2 बजे थे... उदयपुर के टेलर कन्हैया लाल पर बेरहमी से 30 से ज्यादा वार। उन्हीं की दुकान में उन्हें मौत के घाट उतार दिया गया। इस हत्याकांड को अंजाम दिया रियाज और गौस मोहम्मद ने। (पूरी खबर पढ़ें)
Copyright © 2023-24 DB Corp ltd., All Rights Reserved
This website follows the DNPA Code of Ethics.