अलवर में मूकबधिर लड़की से गैंगरेप के मामले में पुलिस और प्रशासन की कार्रवाई पर सवाल उठ रहे हैं। इस बीच शुक्रवार को इस घटना का विरोध जताने पहुंची छात्राओं को कलेक्टर ने जमकर फटकार लगाई, जिस पर एक नया विवाद शुरू हो गया है। दरअसल, कलेक्टर ने छात्राओं से कहा कि वे पढ़ने आती हैं या राजनीति करने।
राजगढ़ की छात्रा मंजू मीणा से कलेक्टर नन्नूमल पहाड़िया ने कहा कि आपके पापा का फोन नंबर दो। इसके बाद कलेक्टर ने वहां खड़ी एडीएम सुनीता पंकज से कहा कि छात्रा के पिता से फोन पर बात करो। पूछो कि उनकी बेटी पढ़ने आई है या राजनीति करने। और भी जो बच्चियां आई हैं, उनके पापा से भी बात करो।
विरोध जताने आई थी भाजपा कार्यकर्ताओं के साथ
असल में अलवर में मूकबधिर बालिका से हुई घटना के विरोध में भाजपा महिला कार्यकर्ताओं के साथ राजगढ़ के एक स्कूल की कई बालिकाएं आई थीं। उन्होंने कलेक्टर से मिलकर मांग की कि बेटी को न्याय मिलना चाहिए। उनके साथ भी राह चलते छेड़छाड़ की जाती है। इस पर कलेक्टर ने बीएससी की छात्रा से पूछा कौन-कौनसी जगह आपको दिक्कत आती है? उसकी जानकारी दें। हम वहां पुलिसकर्मी लगाकर मॉनिटरिंग कराते हैं, ताकि आपको आगे दिक्कत नहींआए।
लोगों ने कलेक्टर के बयान पर आपत्ति जताई
वीडियो सामने आने के बाद लोगों के अलग-अलग कमेंट्स आ रहे हैं। कुछ कलेक्टर के बयान को सही बता रहे हैं तो कुछ का कहना है कि कलेक्टर बेवजह दखल दे रहे हैं। घटना के प्रति विरोध जताना आमजन का अधिकार है, जिसे कलेक्टर दबाना चाह रहे हैं।
जानबूझकर तूल दिया जा रहा: कलेक्टर
कलेक्टर नन्नूमल पहाड़िया का कहना है कि उनका मकसद लड़कियों काे समझाने का था, ताकि वे बेवजह किसी के बहकावे में आकर खुद का समय खराब नहीं करें। केवल पढ़ाई पर फोकस रखें। इसे जानबूझकर तूल दिया जा रहा है। मूक-बधिर बालिका से हुई घटना के मामले में पूरा प्रशासन अलर्ट रहा है। किसी तरह की ढिलाई नहीं दी गई। दिन-रात जांच जारी है।
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