रबी सीजन के साथ ही जिले में बिजली चोरी अचानक बढ़ गई है। जिले के गुड़ामालानी, धोरीमन्ना, सेड़वा व धनाऊ इलाके में अवैध ट्रांसफार्मर लगाकर सिंगल फेस को थ्री फेस में बदलकर बिजली चोरी कर खेती की जा रही है। इस बार डिस्कॉम की अलग-अलग टीम ने मुखबीर से मिली सूचना पर इन इलाकों में दबिश दी तो बड़ी मात्रा में अवैध ट्रांसफार्मर जब्त हुए है।
डिस्कॉम ने अकेले नवंबर माह में 11 और अक्टूबर में 2 ट्रांसफार्मर समेत कुल 13 अवैध ट्रांसफार्मर लगा चोरी की बिजली से ट्यूबवैल से खेती की जा रही थी। डिस्कॉम की विजिलेंस टीम ने बाड़मेर में इस बार अवैध बिजली चोरी के दर्जनों केस पकड़े है। नवंबर में 361 जगह जांच की गई, जिसमें 178 चोरी पकड़ी गई है। विद्युत चोरी के लिए 39.62 लाख रुपए जुर्माना वसूलने के नोटिस दिए गए। जिसमें 9.32 लाख रुपए जुर्माना वसूला गया है।
रबी की सीजन के कारण अवैध बिजली चोरी के मामले बढ़ रहे
इन दिनों नवंबर से रबी की सीजन शुरू हुई है। ऐसे में अवैध ट्रांसफार्मर लगाकर बिजली चोरी की खेती करने वाले किसान सक्रिय हो गए है। डिस्कॉम की ओर से लगातार कार्यवाही के बाद अब बिजली चोरी को लेकर एक बार हड़कंप मचा हुआ है। डिस्कॉम ने नवंबर माह में 11 अवैध ट्रांसफार्मर जब्त किए है। ये ट्रांसफार्मर ऐसी जगहों पर लगाए हुए थे, जिन्हें हर कोई ढूंढ भी नहीं सकता है। कहीं रेत के अंदर टंकी बनाकर लगाए तो कहीं ट्रांसफार्मर को झाड़ियों से ढका हुआ था। इसे ढूंढ़ने के लिए भी डिस्कॉम अधिकारियों को काफी मशक्कत करनी पड़ी
भास्कर सवाल: अवैध ट्रांसफार्मर लगा चोरी, सिर्फ जुर्माना नोटिस, एफआईआर क्यों नहीं
सवाल ये है कि अवैध ट्रांसफार्मर लगाकर थ्री फेज लाइट चोरी करना और बल्ब लगा चोरी करने को भी डिस्कॉम एक जैसा जुर्म मान रही है। बिजली अधिनियम-2003 की धारा 135 के तहत वीसीआर भरकर उसे नोटिस देकर 7 दिन में जुर्माना वसूल करना है। जबकि उसके खिलाफ जुर्म के तहत न तो एफआईआर दर्ज होती है और न ही उसे कोई सजा मिलती है। निगम स्तर पर ट्रांसफार्मर को जब्त कर जुर्माने का आंकलन करते हुए नोटिस दे दिया जाता है।
जुर्माना भरने के साथ ही उसका जुर्म समाप्त हो जाता है। जबकि आरोपी ने निगम की सरकारी लाइन से सेंधमारी कर 11केवी बिजली को चुराया, उसके लिए अवैध ट्रांसफार्मर लगाया गया। निगम के अधिकारियों के मुताबिक उन्हें प्रथम बार में सिर्फ विद्युत चोरी अधिनियम 135 के तहत नोटिस देकर जुर्माना वसूल करना है। इसके बाद अगर दुबारा चोरी करता है ताे उसके खिलाफ एफआईआर दर्ज करवाई जाएगी। उसके खिलाफ कोर्ट में चालान किया जाएगा।
कहां से आ रहे अवैध ट्रांसफार्मर
पकड़े गए ट्रांसफार्मर में सामने आया कि ये किसी कंपनी के ट्रांसफार्मर नहीं थे। यानि ट्रांसफार्मर को मोडिफाइड कर बनाया गया था। जालोर, नागौर और जोधपुर इलाके से इन अवैध ट्रांसफार्मर को 30-40 हजार रुपए में लेकर आते है।
लगातार कार्रवाई जारी रहेगी: एक्सईएन
अवैध ट्रांसफार्मर लगाकर चोरी के मामले पिछले काफी समय से बढ़ रहे थे। नवंबर माह में हमने गुड़ामालानी से 5, धोरीमन्ना से 2, सेड़वा से 3 अवैध ट्रांसफार्मर जब्त किए। रसूखदार लोग होने से ऐसे लोगों की सूचना भी कोई नहीं देता है। ऐसे में बड़ी मुश्किल से लोगों को विश्वास में लेकर ऐसे बिजली चोरों तक पहुंचना पड़ता है। बिजली चोरी के खिलाफ इस तरह का अभियान चलाकर कार्यवाही जारी रहेगी।
-भैराराम चौधरी, एक्सईएन, डिस्कॉम, गुड़ामालानी।
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