बूंदी में 80% लोगों के वोटर आईडी-आधार कार्ड हुए लिंक:विधानसभा क्षेत्रों में SDM को बनाया प्रभारी, लोगों का भी मिल रहा सहयोग

बूंदी8 महीने पहले
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जिला प्रशासन ने मतदाताओं के वोटर आईडी को आधार से लिंक कराने के लिए एक विस्तृत रूपरेखा तैयार कर काम शुरू किया था। - Dainik Bhaskar
जिला प्रशासन ने मतदाताओं के वोटर आईडी को आधार से लिंक कराने के लिए एक विस्तृत रूपरेखा तैयार कर काम शुरू किया था।

भारत निर्वाचन आयोग की ओर से आधार कार्ड से वोटर आईडी कार्ड को जोड़ने के लिए अभियान चलाया जा रहा है। अभियान के तहत बूंदी जिले में 80.82 प्रतिशत वोटर्स के आधार कार्ड को वोटर आईडी से लिंक किया जा चुका है। जिले में यह अभियान 1 अगस्त से शुरू किया गया था। जिला प्रशासन ने बूंदी, हिंडोली और केशवरायपाटन विधानसभा क्षेत्रों के मतदाताओं के वोटर आईडी को आधार से लिंक कराने के लिए एक विस्तृत रूपरेखा तैयार कर काम शुरू किया गया था।

उप जिला निर्वाचन अधिकारी करतार सिंह ने बताया कि जिले में वर्तमान में कुल 8 लाख 17 हजार 737 मतदाता है। सभी के वोटर आईडी को आधार से लिंक कराने के लिए अभियान की शुरुआत पहले ही दिन से शुरू कर दी थी। सभी विधानसभा क्षेत्रों में इस काम के लिए प्रभारी बनाए गए। बूंदी विधानसभा क्षेत्र के लिए उपखंड अधिकारी हेमराज परिडवाल को जिम्मेदारी दी गई। इसी तरह से केशवरायपाटन और हिंडोली विधानसभा क्षेत्रों में वहां के उपखंड अधिकारी प्रभारी बनाए गए। जिले में 1 अगस्त से लगातार चल रहे कार्यक्रम में वर्तमान में औसतन 4 हजार मतदाताओं के वोटर आईडी को आधार से लिंक किया जा रहा है। इस हिसाब से अगले महीने तक इस काम को पूरा कर लिया जाएगा।

अब तक 6.60 लाख से अधिक वोटर आईडी आधार से लिंक
निर्वाचन विभाग राजस्थान से प्राप्त निर्देशों के तहत चलाए जा रहे अभियान में 3 अक्टूबर तक जिले में 6 लाख 60 हजार 600 से अधिक मतदाताओं ने अपने वोटर आईडी आधार से लिंक करवा लिए हैं। यह कुल मतदाताओं का 80.82 प्रतिशत है। बाकी करीब 19.18 प्रतिशत मतदाताओं के वोटर आईडी को आधार से लिंक करने के लिए 6 महीने और बाकी है। जिले में वोटर आईडी को आधार से लिंक कराने की समय सीमा मार्च 2023 तय है।

वोटर आईडी को आधार से लिंक करने से फर्जी वोट डालने वालों पर अंकुश लगाया जा सकेगा। पहले एक ही नाम का व्यक्ति अलग-अलग शहरों में या जगहों पर अपना नाम वोटिंग लिस्ट में चढ़वा लेता था, जिससे फर्जी वोट डालने की संभावना रहती थी। अब मतदाता सूची के आधार से लिंक होने पर मतदाता का नाम 1 जगह ही रहेगा।

उन्होंने कहा कि निर्वाचन आयोग ने वोटर आईडी को आधार से लिंक कराने का काम फिलहाल स्वैच्छिक रखा है। बूथ लेवल अधिकारियों की मेहनत का ही नतीजा है कि स्वैच्छिक होते हुए भी यह अभियान तेजी से सफलता की ओर बढ़ रहा है। इसमें लोगों का भी पूरा सहयोग मिल रहा है।