जयपुर में न्यायिक कर्मचारी सुभाष मेहरा के मामले में न्याय की मांग की है। विरोध में झुंझुनूं के न्यायिक कर्मचारी बुधवार को सामूहिक अवकाश पर रहे। मृतक मेहरा को न्याय दिलाने के लिए कर्मचारियों की ओर से कलेक्ट्रेट के बाहर धरना शुरू किया। इसके चलते बुधवार को झुंझुनूं कोर्ट में कामकाज ठप रहा। कोर्ट में नियमित होने वाली सुनवाई पूरी तरह से प्रभावित रही।
न्यायिक कर्मचारी संघ के जिलाध्यक्ष सुभाष मूंड ने बताया कि मामले में दस दिन से ऊपर बीत चुके है, लेकिन आज तक कार्रवाई नहीं की गई, इसको लेकर आक्रोश है। सुनवाई नहीं होने पर प्रदेश नेतृत्व के आह्वान पर पूरे प्रदेश में सामूहिक अवकाश लेकर हड़ताल करने का निर्णय लिया गया है। धरने बैठे कर्मचारियों ने कहा कि सुभाष मेहरा के साथ 10 नवंबर को घटना हुई थी। मामले में पिछले 12 दिन से कोई कार्यवाही नहीं हुई। इसलिए न्यायिक कर्मचारियों में आक्रोश है। जब तक कार्रवाई नहीं होगी तब तक संपूर्ण अधीनस्थ न्यायालय के न्यायिक कर्मचारी गण तथा राजस्थान राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण एवं जिला मुख्यालय पर स्थित स्थाई लोक अदालत एवं जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के समस्त न्यायिक कर्मचारी सामूहिक अवकाश पर रहेंगे। इस दौरान बड़ी संख्या में कर्मचारी धरने पर मौजूद रहे।
ये मांग की
मामले में एफआईआर दर्ज करने, सीबीआई से जांच कराने और मृतक के परिवार को 50 लाख रुपए की आर्थिक सहायता सहित अन्य मांग की गई।
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