अपर जिला एवं सेशन न्यायाधीश मनीष कुमार वैष्णव ने जिला कारागृह का निरीक्षण कर भोजन, सफाई व्यवस्थाओं का जायजा लिया। निरीक्षण के दौरान कारागृह में 156 बंदी निरुद्ध मिले, जो कारागृह की बंदी क्षमता से लगभग तीन गुने अधिक थे। इस पर वैष्णव ने क्षमता से अधिक बंदियों को अन्यत्र कारागृह में स्थानांतरित करने के निर्देश दिए।
इस दौरा नए बंदियों से संवाद किया। एक बंदी के अलावा सभी बंदियों ने अधिवक्ता नियुक्त होना बताया, उक्त बंदी को पैरवी के लिए अधिवक्ता उपलब्ध करवाने के लिए निशुल्क विधिक सहायता का आवेदन पत्र भरवाया गया। बंदियों को सुबह नाश्ते में पोहे एवं दोपहर भोजन में चने की दाल, लोकी की सब्जी व चपाती दी गई। कारागृह में शीतल पेयजल के लिए वाटर कूलर की व्यवस्था है। उन्हें निशुल्क विधिक सहायता, नालसा लीगल सर्विस एप, मध्यस्थता, पीड़ित प्रतिकर, श्रमिक कल्याण की योजनाओं के बारे में जानकारी दी।
शिशु गृह का निरीक्षण किया
अपर जिला व सेशन न्यायाधीश मनीष कुमार वैष्णव ने शिशु गृह का निरीक्षण कर व्यवस्थाओं का जायजा लिया। निरीक्षण के दौरान गृह में कुल 2 बालिकाएं आश्रयरत मिली। जिनमें 1 की उम्र लगभग 2 महीने 15 दिन व दूसरी बालिका की उम्र लगभग 3 माह है। दोनों बालिकाएं स्वस्थ है। गृह में कार्यरत आया द्वारा बताया गया कि बालिकाओं के नियमानुसार समय पर टीका लगवाया जा रहा है। चिकित्सक सारांश सबंल द्वारा 27 अप्रैल को बालिकाओं का स्वास्थ्य परीक्षण करना बताया। निरीक्षण के दौरान आया सीता सालवी उपस्थित मिली।
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