जालोर में स्टूडेंट की मौत और खाटूश्यामजी में भगदड़ से तीन श्रद्धालुओं की मौत मामले को लेकर आज राजस्थान आदिवासी मीना संघ ने कलेक्ट्रेट पर अपना विरोध जताया। समाज के लोगों ने आरोप की आजाद भारत में जिस तरह की दलितों के साथ दुर्व्यवहार हो रहा है वह सरासर गलत है। इसके साथ ही खाटूश्यामजी मामले में भी प्रबंधन कमेटी के खिलाफ ठोस कार्रवाई नहीं की गई। ऐसे में उन्होंने अपनी मांगों को लेकर मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को मांग पत्र सौंपा।
जालौर में दलित स्टूडेंट की टीचर द्वारा मारपीट के बाद मौत मामले को लेकर लोगों का आक्रोश कम नहीं हो रहा है। घटना को लेकर जगह-जगह विरोध प्रदर्शन किया जा रहा है। सीकर में भी आज राजस्थान आदिवासी मीना संघ की ओर से कलेक्ट्रेट पर विरोध प्रदर्शन किया गया। आदिवासी मीना संघ के जिलाध्य वीरेन्द्र मीना ने बताया कि आजादी के इतने वर्षों बाद भी आज भी लोगों की सोच इतनी भयानक कैसे हो सकती है।
उन्होंने आरोप लगाया ऐसे लोगों के खिलाफ कठोर से कठोर कार्रवाई होनी चाहिए। इसके साथ ही मृतक बच्चे के परिवार को सरकार की ओर से मुआवजा मिलना चाहिए। वीरेंन्द्र मीना ने आरोप लगाया कि खाटूश्यामजी में तीन श्रद्धालुओं की मौत मामले में प्रबंधन कमेटी जिम्मेदार है। अव्यवस्था के कारण इस तरह का हादसा हुआ है। पुलिस अधिकारियों ने भी कमेटी को मौजूदा स्थिति के बारे में अवगत कराया लेकिन इसके बाद भी कमेटी ने किसी की एक नहीं मानी। वहीं कमेटी के पदाधिकारियों पर दर्ज मुकदमे में भी कोई उचित कार्रवाई नहीं की गई है। ऐसे में मामले की पूरी निष्पता से जांच की जानी चाहिए।
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