सहारनपुर में सिलेंडर फटने से एक मजदूर की मौत हो गई है। हादसे में 2 लोग घायल हैं। हादसा इतना भीषण था कि सिलेंडर के चिथडे़ फैक्ट्री से आधा किलोमीटर दूर मिले। हादसे में घायल एक मजदूर हर्ष ने बताया कि धमाका इतना तेज था कि उन्हें लगा कि उनके काम के पर्दे फट गए। पल भर में वो बेहोश हो गए। जब होश आया तो देखा चीख-पुकार मची है। आसपास लोगों की भीड़ लगी थी। काफी देर तक कुछ समझ नहीं आया।
सुबह 11 बजे करीब हुआ हादसा
अतुल जनरेटर फैक्ट्री में शनिवार सुबह करीब 11 बजे गैस सिलेंडर फटा। हादसे में छलेसर के बांस बादाम निवासी रूपेश की मौत हो गई, जबकि हर्ष और इरफान घायल हो गए। घायल हर्ष ने बताया कि वो और रुपेश प्लांट में रेत डालने का काम कर रहे थे। तभी उनके पास गैस सिलेंडर लेकर आने वाली गाड़ी रूकी।
गाड़ी रुकने के चंद मिनट बाद ही बहुत तेज धमाका हुआ। पल भर के लिए उन्हें लगा कि आसमान फट गया। धमाका इतनी तेज था कि उनको लगा कि कान के पर्दे फट गए। उसकी आंखों के आगे अंधेरा छा गया।
पल भर में वो बेहोश हो गए। इसके बाद क्या हुआ उन्हें नहीं पता। जब उन्हें होश आया तो उनके चारों तरफ भीड़ लगी थी। चीख-पुकार मची हुई थी। आंखें तो खुलीं थीं, लेकिन सब घूमता से नजरा आ रहा था। कान सीटियां बज रही थीं। उन्हें नहीं पता कि ये सब कैसे हुआ।
दूर बस्ती में गिरा सिलेंडर
सिलेंडर का विस्फोट कितना भीषण था कि इसका अंदाज इससे लगाया जा सकता है कि फैक्ट्री के अंदर फटा सिलेंडर का टुकड़ा करीब 500 मीटर दूर दुर्गा नगर में जाकर गिरा। सिलेंडर का टुकड़ा गिरने पर बस्ती के लोग डर गए।
बस्ती में रहने वाले मान सिंह ने बताया कि वो दुकान पर खडे़ थे अचानक बहुत तेज धमाके की आवाज सुनाई दी। थोड़ी देर बाद लोगों ने बताया कि आसमान से कुछ गिरा है। जब पास जाकर देखा तो लोहे का टुकड़ा था। बाद में पता चला कि अतुल फैक्ट्री में सिलेंडर फटा है, उसका टुकड़ा था। वहीं, एक टुकड़ा बराबर की फैक्ट्री में गिरा।
गनीमत रही और सिलेंडर नहीं फटे
अतुल फैक्ट्री में हुए हादसे में गनीमत रही कि मेटाडोर में रखे और सिलेंडर नहीं फटे। गाड़ी में करीब एक दर्जन सिलेंडर थे। हादसे के कई सिलेंडर लीक हो गए थे। इनसे गैस निकल रही थी। फायर ब्रिगेड की टीम ने आकर सिलेंडर को हटाया। अगर, हादसे में और सिलेंडर फटते था, इससे बड़ा हादसा हो सकता था।
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