गोरखपुर में सीएम योगी के 'बुलडोजर' का असर अब दिखने लगा है। शनिवार को शहर के सबसे बड़े शातिर भू-माफिया ओमप्रकाश पांडेय पर पुलिस और प्रशासन का शिकंजा कसा। डीएम विजय किरण आनंद के निर्देश पर तहसीलदार की मौजूदगी में कैंट इंस्पेक्टर शशिभूषण राय ने उसके मोहद्दीपुर स्थित 4 करोड़ रुपये कीमत के मकान को जब्त कर कुर्की की कार्रवाई की। बकायदा उसके मोहल्ले में मुनादी भी कराई गई। अभी 3 दिन पहले ही ओमप्रकाश की लग्जरी गाड़ियों को जब्त किया गया था। जिसकी कीमत दो करोड़ आंकी गई थी। उसपर यह कार्रवाई गैंगेस्टर एक्ट की धारा 14(1) के तहत की गई है।
7 फरवरी को हुआ था गिरफ्तार
गैंगस्टर एक्ट में वांछित चल रहे ओमप्रकाश पांडेय को कैंट पुलिस ने बीते 7 फरवरी 2022 को गिरफ्तार किया था। उसके खिलाफ कैंट थाने में 29 मुकदमे दर्ज हैं। इनमें ज्यादातर मुकदमे बीते एक साल में दर्ज किए गए हैं। जब सीएम के जनता दर्शन में ताबड़तोड़ जमीन कब्जा करने के मामले सामने आने लगे।
ओमप्रकाश पर 25 हजार का था इनाम
कैंट इलाके के मोहद्दीपुर चार-फाटक रोड के रहने वाले ओमप्रकाश पांडेय के जालसाजी करने की शिकायत मुख्यमंत्री के जनता दर्शन में पहुंचने के बाद पुलिस ने शिकंजा कसना शुरु किया। जिन लोगों ने भी ओम प्रकाश के खिलाफ तहरीर दी पुलिस ने मुकदमा दर्ज किया। उसके खिलाफ कैंट समेत शहर के अलग-अलग थानों में कुल 29 मुकदमे दर्ज हैं। कैंट पुलिस ने ओम प्रकाश के खिलाफ गैंगस्टर एक्ट की भी कार्रवाई की है। इसी के साथ उस पर 25 हजार रुपये का इनाम भी रखा गया था।
ओम प्रकाश पर केस भले ही एक के बाद एक कर दर्ज किए जा रहे थे। लेकिन उसने गोरखपुर पुलिस को खूब छकाया। उसकी तलाश में लगातार गोरखपुर पुलिस की कई टीमें काम कर रही थी। उसकी लोकेशन राजस्थान, दिल्ली, हरियाणा सहित अन्य प्रदेशों में मिल रहा था लेकिन पुलिस उस तक पहुंच पाती उससे पहले ही वह गायब हो जाता था।
इसके बाद से ही उसकी सम्पत्ति जब्ती की कार्रवाई शुरू हो गई थी। डीएम विजय किरन आनन्द ने आर्थिक अपराध कारित करके अर्जित की गई दो कार, एक स्कार्पियों, एक बाइक व मोहद्दीपुर के मकान को जब्त कर तहसीलदार सदर को रिसीवर नियुक्त किया है।
पत्नी सहित अन्य पर दर्ज है केस
भू-माफिया ओम प्रकाश पांडेय ही नहीं उसकी पत्नी सुनैना पांडेय और सहयोगी संजय पांडेय के अलावा सनी देवल, धीरज साहनी सहित कई लोगों पर पुलिस ने जालसाजी का केस दर्ज कर रखा है। इस गैंग का सरगना ओम प्रकाश को ही बनाया गया है। अब पुलिस का कहना है कि 29 मुकदमों के बाद भी उसके जेल जाने पर उसके खिलाफ कुछ और केस दर्ज हुए हैं। इन केसों में भी एक और गैंगेस्टर की कार्रवाई होगी।
सीएम तक पहुंची थी ओमप्रकाश की जालसाजी
यह वही ओम प्रकाश पांडेय है, जिसकी शिकायत पांच अगस्त 2021 को एक महिला ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से जनता दरबार में की थी। तब मुख्यमंत्री ने कहा था कि गोरखपुर में अब भी भू-माफिया बचे हैं क्या? इसके बाद ही ओम प्रकाश के खिलाफ पुलिसिया कार्रवाई तेज हुई थी। इनाम घोषित किया गया था। हालांकि भू-माफिया पर पहला केस 2018 में दर्ज हुआ था फिर भी वह भू माफिया के लिस्ट में नहीं था। पुलिस के अनुसार शनिवार को जब्त किया गया जमीन और मकान ओमप्रकाश की पत्नी सुनैना के नाम से था। 23 अगस्त को तत्कालीन कैंट इंस्पेक्टर सुधीर सिंह की तहरीर पर पुलिस ने भू-माफिया ओमप्रकाश और उसके तीन अन्य साथियों पर गैंगस्टर के तहत केस दर्ज की थी।
जमीन की जालसाजी का ‘नटवरलाल’ है
ओम प्रकाश उर्फ ओपी पाण्डेय जमीन की जालसाजी का 'नटवरलाल' है। उस पर जालसाजी का केस चार साल पहले दर्ज हुआ था। जिन लोगों ने भी ओम प्रकाश के खिलाफ तहरीर दी पुलिस ने केस दर्ज किया।
कुछ इस तरह है जालसाजी की कहानी
केस एक
बलिया के बैल्थरा निवासी संध्या गुप्ता पत्नी राजकुमार गुप्ता और कमला देवी पत्नी स्व.रामअवध की तहरीर पर जालसाजी का केस दर्ज हुआ। दोनों का एक ही आरोप है कि जमीन की रजिस्ट्री करा ली, लेकिन अभी तक कब्जा नहीं मिला है। पीड़ितों का कहना है कि उन्हें पता चला है कि ओमप्रकाश के पास जितनी जमीन थी, उससे ज्यादा लोगों को जालसाजी कर बेच चुका है।
केस दो
झारखंड के पश्चिमी सिंह भूमि जिला स्थित किरीबुरु गांव निवासी श्याम कुमार गुप्ता व जामदा गांव निवासी धर्मेंद्र गुप्ता ने 2014 में मोहद्दीपुर निवासी ओमप्रकाश पांडेय से जमीन की डील की थी। उसने महादेव झारखंडी टुकड़ा नंबर दो में 2100 वर्ग फीट जमीन देने के लिए दोनों से 8.80 लाख रुपये ले लिए। बैनामा होने के बाद बाउंड्री करा दी। कुछ दिन बाद पता चला कि उनकी जमीन पर कोई और घर बनवा रहा है। पूछने पर ओमप्रकाश पांडेय ने बताया कि दूसरी जगह जमीन दे दूंगा।
केस तीन
बिहार के राजकिशोर सिंह के साथ हुई जालसाजी में कमिश्नर के आदेश पर केस दर्ज किया था। गांव की एक महिला से ओमप्रकाश की बातचीत थी और उसके जरिए ही उससे मुलाकात हुई थी। 7 मार्च 2011 को पत्नी बसंती देवी के नाम पर 14 लाख में महादेव झारखंडी में उन्होंने एक जमीन खरीदी थी। मगर कब्जा दखल आज तक नहीं हो पाया। पीड़ित की तहरीर पर केस दर्ज कर पुलिस मामले की जांच कर रही है।
केस चार
नंदानगर के चंद्रभूषण गुप्ता को ओम प्रकाश ने महादेव झारखंडी टुकड़ा नंबर दो की 12800 वर्ग फीट और 1189 वर्ग फीट जमीन दिखाई और दो लाख रुपये में एग्रीमेंट कराया। इसका भुगतान चेक से किया गया। इसके बाद अलग-अलग समय पर सात लाख 90 हजार रुपये का भुगतान किया गया। जब रजिस्ट्री करने की बात कही गई तो आनाकानी करने लगा। बाद में जालसाजी की जानकारी हुई। कैंट पुलिस ने केस दर्ज किया।
इन लोगों ने भी किराया केस
30 अगस्त को पूर्व नौसैनिक मनीष कुमार मिश्रा ने केस दर्ज कराया था। कुशीनगर के कसया के सुकदेव निवासी दुर्गावती देवी, रमेश मिश्रा, किरन राय, लक्ष्मीपुर बुजुर्ग निवासी अलका पांडेय, कुबेरस्थान के सिंहन, जोड़ी निवासी मंजू देवी, कोहरवलिया निवासी मीरा देवी ने केस दर्ज कराया था। इसके पहले बिहार की बिरति, सिवान की रेणु सिंह और देवरिया की बबिता द्विवेदी ने भी केस दर्ज कराया था।
Copyright © 2022-23 DB Corp ltd., All Rights Reserved
This website follows the DNPA Code of Ethics.