बेहतर भविष्य की उम्मीद में पाई-पाई जोड़कर निवेश करने वाले लोगों को अपना ही पैसा डूबता नजर आ रहा है। जनपद में करीब 80 हजार लोगों का पैसा अलग--अलग चिट एंड फंड कंपनियों में निवेश के बाद डूब गया। निवेशकों का करीब 250 करोड़ रुपया कंपनियां लेकर भाग गई हैं। ऐसे में निवेशकों और कंपनियों के एजेंटों ने मंगलवार को व्यापारियों के साथ मिलकर डीएम दफ्तर का घेराव किया। पैसा वापस दिलाये जाने की मांग करते हुए ज्ञापन सौंपा।
अखिल भारतीय उद्योग व्यापार मंडल के प्रदेश मंत्री संजय मित्तल ने सिटी मजिस्ट्रेट अनूप कुमार को एजेंटों और निवेशकों की समस्याओं से अवगत कराया। ज्ञापन देते हुए कहा कि बड्स एक्ट के तहत पीड़ितों का पैसा दिलाया जाए। उन्होंने कहा कि जनपद मुजफ्फरनगर में बड्स एक्ट 2019 एवं राज्यों के पीआईडी एक्ट की अनुपालना सुनिश्चित करवाने के लिए शासन द्वारा नियुक्त सक्षम अधिकारी और सहायक सक्षम अधिकारी एवं विशेष न्यायालय बड्स एक्ट 2019 की पद पट्टिका उनके कार्यालयों पर प्रदर्शित कराएं, ताकि पीड़ित भुगतान के दावे शासन के समक्ष प्रस्तुत कर अपना भुगतान 180 कार्य दिवस में प्राप्त कर सकें।
इस दौरान धरने में अखिल भारतीय उद्योग व्यापार मंडल के जिलाध्यक्ष महेश चैहान, जयपाल, डा.पुनीत सिंघल, नीरज बंसल, अंशुमन अग्रवाल, ठग पीड़ित एवं जमाकर्ता परिवार के जिला संयोजक सोमदत्त रोहेला, जिलाध्यक्ष सतीश गर्ग, वरिष्ठ उपाध्यक्ष केतन कर्णवाल, महासचिव राकेश कुमार, उपाध्यक्ष अंकुज गुप्ता, शिव बली, उमंग कर्णवाल, बालेश्वर त्यागी, अमरदीप और प्रियवर्त शर्मा आदि मौजूद रहे।
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