बीते साल 19 दिसंबर को लखनऊ में CAA/NRC की आड़ में हुई हिंसा के मामले में करीब 11 माह बाद आरोपियों की तलाश में गुरुवार रात लखनऊ पुलिस ने हसनगंज क्षेत्र में सात जगहों पर छापेमारी की। इस दौरान सामाजिक कार्यकर्ता जैनब के घर पर परिवार वालों से झड़प हुई। पुलिस ने उनके पिता को हिरासत में लिया है। वहीं, शायर मुनव्वर राना की बेटी सुमैया राना को पुलिस ने नजरबंद कर दिया है।
सुमैया राना का आरोप है कि गुरुवार रात एकाएक पुलिस की कई टीमों के द्वारा CAA/NRC के विरोध में शामिल हुए प्रदर्शन कर्मियों के घर पर छापेमारी की जाने लगी। लखनऊ पुलिस के द्वारा देर रात महिलाओं को जबरदस्ती उठा कर थाने ले जाने का प्रयास किया गया। जिसके विरोध में झड़प भी हुई। लखनऊ पुलिस लोगों को परेशान कर रही है। धमकी दी जा रही है कि घर गिरा दिए जाएंगे। गुरुवार रात से पुलिस ने मुझे नजर बंद कर दिया है। मेरे घर के बाहर पुलिस का पहरा तैनात है।
जैनब सिद्दीकी के घर पहुंची पुलिस, हुई गाली गलौच
जैनब सिद्दीकी ने बताया कि देर रात पुलिस आई। उसने फोटो दिखाते हुए कहा कि आप प्रदर्शन में शामिल हैं। सीएए/एनआरसी के प्रदर्शन में शामिल हुई थीं। हम ने मना किया। हम सामाजिक कार्यकर्ता हैं, लेकिन किसी भी प्रदर्शन में शामिल नहीं हुए और ना ही मेरा इससे पहले किसी भी मुकदमे या फिर किसी प्रदर्शन में नाम है। इसके बाद घर आ रहे हैं। पिता को पुलिस ने पकड़ लिया। इसके बाद जैनब सिद्दीकी और पुलिस के बीच में झड़प और गाली गलौच हुई। जैनब का आरोप हैं कि, मेरे पिता को ज़बरदस्ती पकड़ने लगी। तब हमने विरोध किया।
एक दिन पहले लगाए वांछित के पोस्टर, जारी किया गया इनाम
राजधानी लखनऊ में बीते साल CAA-NRC (नागरिकता संशोधन कानून और राष्ट्रीय नागरिकता रजिस्टर) की आड़ में चार थाना क्षेत्रों में हिंसा हुई थी। इस मामले में लखनऊ कमिश्नरेट ने एक्शन शुरू कर दिया है। बीते गुरुवार को शिया धर्मगुरु मौलाना अब्बास समेत 14 अन्य आरोपियों पर 5-5 हजार रुपए का इनाम तय किया है। इनमें से 8 आरोपियों को वांटेड घोषित किया गया है। इस बाबत पुराने लखनऊ जैसे चौक, हसनगंज आदि क्षेत्र व आरोपियों के घर के बाहर पोस्टर चस्पा कराए गए हैं।
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