WFI ने 72 घंटे में खेल मंत्रालय को अपना जवाब दिया है। WFI का लेटर भास्कर को मिला। जिसमें रेसलर्स के धरना-प्रदर्शन को बड़ी साजिश बताया है। गलत व्यवहार, मिस मैनेजमेंट और सेक्सुअल हैरसमेंट के आरोपों को झूठा बताया। फेडरेशन ने कुल 12 प्वॉइंट्स में अपनी सफाई दी है।
फेडरेशन ने कहा, कुश्ती संघ चुनी हुई संस्था है, जो अपने नियमों के हिसाब से चलती है। इसलिए अध्यक्ष या किसी अन्य सदस्य की मनमानी का सवाल ही नहीं उठता।
1- खेल मंत्रालय के नोटिस का जवाब रेसलिंग फेडरेशन ऑफ इंडिया (WFI) ने दिया है। फेडरेशन की ओर से कहा गया- प्रदर्शन कर रहे खिलाड़ी अपने निजी हित के लिए WFI को बदनाम कर रहे हैं। विरोध के पीछे उनके पर्सनल एजेंडे हैं। WFI में अध्यक्ष या कोई भी मनमानी नहीं कर सकता है। यहां कुप्रबंधन की कोई गुंजाइश नहीं है।
2- WFI के मैनेजमेंट के लिए समय-समय पर नियम, पॉलिसी बनाए जाते रहते हैं। जिसमें नेशनल कैंप, ट्रेनिंग और कोचिंग कैंप के लिए नियम जारी होते रहते हैं। नेशनल कोचिंग कैंप और इंटरनेशनल कॉम्पिटिशन में पार्टिसिपेट करने की जानकारी पब्लिक डोमेन पर उपलब्ध है।
3- WFI के तीन बार से अध्यक्ष बृजभूषण सिंह ने हमेशा रेसलर्स के लिए बेस्ट दिया है। साथ ही साथ राष्ट्रीय हित में मौजूदा अध्यक्ष ने WFI की इमेज को बेहतर किया है। कुश्ती खेल नेशनल और इंटरनेशनल लेवल पर पहुंचा। यह कड़े मैनेजमेंट के बिना संभव नहीं था। WFI ने 2022 में आयोजित हो चुके टूर्नामेंटों के बारे में भी जानकारी शेयर की है।
4- WFI ने अपने मैनेजमेंट के माध्यम से, रेसलर्स के लिए अच्छा काम किया और राष्ट्रीय हित में बेहतर योगदान दिया। WFI मैनेजमेंट ने 2022 में स्पोर्ट्स कॉम्पिटिशन के जरिए कई सारे मेडल जीते हैं। जिस पर संघ को गर्व है।
5- किसी भी तरह की कोई शिकायत अभी तक प्रदर्शनकारी पहलवानों ने नहीं की है। इसलिए, बिना किसी शिकायत के ऐसी किसी भी मीडिया रिपोर्ट को WFI खारिज करता है। सिवाय इसके कि एक तरह से बदनाम करने के लिए ऐसा किया गया हो।
6- सरकार के नियमों, रेगुलेशन को देखते हुए रेसलर्स की मदद और सपोर्ट करने के अलावा WFI का सिटिंग मैनेजमेंट रेसलिंग ओरिएंटेड है न कि रेसलर्स सेंट्रिक। भारत या किसी भी इंटरनेशनल बॉडिज की और किसी भी कोच या रेसलर्स को गलत कामों की अनुमति नहीं देता है।
7- WFI का मैनेजमेंट बेस्ट तरीके से कुश्ती को बढ़ावा देने के लिए कमिटेड है। जिसमें हमारा मैनेजमेंट सफल रहा है। खास तौर से मौजूदा अध्यक्ष के कार्यकाल में। WFI के ट्रैक रिकॉर्ड के अनुसार, नियमों के हिसाब से कुश्ती के साथ-साथ रेसलर्स की देखभाल करता है।
8- कुश्ती संघ चुनी हुई संस्था है, जो अपने कॉन्स्टिट्यूशन के हिसाब से चलती है। इसलिए अध्यक्ष या किसी अन्य सदस्य की मनमानी का सवाल ही नहीं उठता।
9- यौन उत्पीड़न के संबंध में शिकायतों की सुनवाई के लिए WFI ने पहले से ही एक 'यौन उत्पीड़न समिति' का गठन किया है, जिसमें 5 लोग मुख्य रूप से शामिल हैं-
10- यौन उत्पीड़न समिति के बारे में WFI की वेबसाइट पर सभी जानकारी उपलब्ध है। यहां कोई भी पीड़ित रेसलर अपनी शिकायत दर्ज करा सकता है। जिसकी समिति कानून के अनुसार जांच करती है। हालांकि, इस तरह की किसी भी तरह की कोई शिकायत अभी तक प्रदर्शनकारी पहलवानों ने नहीं की है। इसलिए, बिना किसी शिकायत के इस तरह के आरोपों को नकारा जाता है। सभी आरोप झूठे हैं।
11- सेक्सुअल हैरसमेंट के आरोप पर जवाब देते हुए WFI का कहना है कि प्रदर्शनकारी पहलवानों का धरना और प्रेस कॉन्फ्रेंस में बैठ कर जिस तरह की बात कही है, उससे लगता है कि खुद के स्वार्थ और किसी दूसरे के दबाव में आकर ऐसा किया जा रहा है। WFI, उसके अध्यक्ष या कोच के मैनेजमेंट को बदनाम किया जा रहा है।
12- यौन उत्पीड़न समिति की रिपोर्ट में अभी तक ऐसे एक भी आरोप सही नहीं हैं। ऐसे आरोप पहले भी कभी सामने नहीं आए हैं। इसलिए इस तरह के आरोप दुर्भावनापूर्ण और गलत हैं। इस मामले में कोई सच्चाई नहीं है। मीडिया के जरिए संघ और अध्यक्ष को बदनाम किया जा रहा है।
कुश्ती संघ के अध्यक्ष पर खिलाड़ियों के आरोप
अब समझ लीजिए पूरा मामला क्या है
18 जनवरी को विनेश फोगाट, बजरंग पूनिया, साक्षी मलिक समेत करीब 30 पहलवान दिल्ली के जंतर-मंतर पर भारतीय कुश्ती संघ के खिलाफ धरने पर बैठ गए। बाद में इस प्रदर्शन में 200 से ज्यादा खिलाड़ी शामिल हो गए। उन्होंने WFI अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह और कुछ कोच पर ओलिंपिक विजेता खिलाड़ियों से यौन उत्पीड़न का आरोप लगाया। पहलवानों ने WFI अध्यक्ष से इस्तीफा देने की मांग की।
रेसलर विनेश फोगाट ने कहा कि हमारे आरोप सच्चे हैं। हमें मजबूर न किया जाए सबके सामने आने के लिए। हम अपने सम्मान के लिए लड़ रहे हैं। हम पूरे देश को यह नहीं बताना चाहते कि देश की बेटियों के साथ क्या हुआ है। जिस दिन सारी लड़कियां मीडिया को बताएंगी कि हमारे साथ क्या हुआ, वो कुश्ती का दुर्भाग्य होगा।
अगर हमारी मांग नहीं मानी गई तो हम इन लड़कियों के साथ FIR कराएंगे। WFI अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह को जेल भिजवाएंगे। वहीं, बजरंग पुनिया ने कहा कि हमारे साथ विद प्रूफ 6-7 लड़कियां हैं, जिनका अध्यक्ष ने शोषण किया है।
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