इलाहाबाद यूनिवर्सिटी के छात्र मंगलवार को उग्र हो गए। एक छात्र कुलपति कार्यालय की छत पर चढ़ गया और उसने आत्महत्या करने का प्रयास किया। वहीं, मो. मसूद नाम के एक छात्र ने मिट्टी का तेल पी लिया। उसे तत्काल अस्पताल भेज दिया गया है। छात्रों ने कुलपति विरोधी नारे लगाते हुए यूनिवर्सिटी कैंपस में पैदल मार्च भी किया। छात्रों का कहना है कि इस यूनिवर्सिटी में किसान और मजदूर के बेटे भी पढ़ाई करने आते हैं। यहां फीस बढ़ा कर विश्वविद्यालय प्रशासन तानाशाही कर रहा है। दरअसल, 6 सितंबर से छात्र आमरण अनशन पर बैठे हैं। वे यूनिवर्सिटी कैंपस में प्रदर्शन कर रहे हैं।
4 गुना तक बढ़ा दी गई है फीस
इलाहाबाद यूनिवर्सिटी में नए सत्र 2022-23 के लिए फीस बधाई गई है। नए फीस स्ट्रक्चर के अनुसार, ग्रेजुएशन,पोस्ट ग्रेजुएशन और PHD कोर्स में दाखिला लेने वाले छात्र-छात्राओं की विश्वविद्यालय में पढ़ाई महंगी हो गई है। 31 अगस्त को फीस में 400 फीसदी तक की बढ़ोतरी की गई। इस फैसले के बाद से ही सैकड़ों छात्रों ने छात्र संघ भवन के सामने प्रदर्शन और अनशन शुरू कर दिया था, जो लगातार जारी है।
कोर्स का नाम | पुरानी फीस | नई फीस |
बीए | 975 | 3701 |
बीएससी | 1125 | 4151 |
बीकॉम | 975 | 3901 |
एमए | 1375 | 1961 |
एमएससी | 1961 | 6001 |
बीटेक | 1941 | 5151 |
एलएलबी | 1375 | 4651 |
बीए प्रैक्टिकल | 1125 | 3951 |
LPG गैस सिलेंडर और लाइटर लेकर छत पर चढ़ा छात्र
बीए मास मीडिया थर्ड ईयर का छात्र आयुष प्रियदर्शी वीसी कार्यालय के ऊपर तीसरी मंजिल पर चढ़ गया। वह फीस वृद्धि के खिलाफ हाथों में पोस्टर लहराने लगा। उसके पास LPG गैस सिलेंडर और लाइटर भी मौजूद था। उसने ऊपर से ही आत्मदाह की चेतावनी दी। हालांकि, प्रशासन ने छात्र को समझाकर सुरक्षित नीचे उतार लिया।
इसके बाद वीसी कार्यालय के बाहर प्रदर्शन कर रहे लगभग आधा दर्जन छात्रों ने अपने ऊपर केरोसीन और पेट्रोल छिड़ककर आत्मदाह की कोशिश की। मौके पर मौजूद पुलिसकर्मियों ने छात्रों को आत्मदाह करने से रोक दिया। इस बीच एक छात्र ने केरोसिन पी लिया। उसे तत्काल अस्पताल भेजा गया।
'फीस वृद्धि वापस नहीं हुई तो ते देंगे जान'
कुलपति ऑफिस की छत पर चढ़े छात्र का कहना है कि पिछले 15 दिनों से हम छात्र फीस वृद्धि के विरोध में आमरण अनशन कर रहे हैं। लेकिन, विश्वविद्यालय कुलपति हमारी बातों को अनदेखा कर रही हैं। फीस वृद्धि तत्काल वापस नहीं हुई तो जान दे देंगे।"
फीस बढ़ोतरी को लेकर शुरू हुई सियासत
फीस बढ़ोतरी को लेकर सियासी दल योगी सरकार पर हमलावर हैं। छात्रों को कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी और सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव का भी समर्थन मिला चुका है। प्रियंका गांधी ने 16 सितंबर को ट्वीट कर छात्रों का समर्थन दिया था। उन्होंने विश्वविद्यालय प्रशासन और सरकार से फीस कम करने की अपील की थी। इसी तरह 13 सितंबर को अखिलेश यादव ने भी ट्वीट कर छात्रों को अपना समर्थन दिया था।
मंगलवार को बहुजन समाज पार्टी की मुखिया मायावती ने ट्वीट कर कहा, ‘इलाहाबाद विश्वविद्यालय में फीस में एकमुश्त वृद्धि करने के विरोध में छात्रों के आंदोलन को जिस प्रकार कुचलने का प्रयास जारी है। वह अनुचित व निंदनीय। यूपी सरकार अपनी निरंकुशता को त्याग कर छात्रों की वाजिब मांगों पर सहानुभति पूर्वक विचार करे, बीएसपी की मांग।’
आत्मदाह की कोशिश कर चुके हैं छात्र
19 सितंबर को विश्वविद्यालय गेट पर एक छात्र ने फीस वृद्धि के विरोध में अपने ऊपर पेट्रोल छिड़क कर आत्मदाह करने की कोशिश की थी। पुलिस ने काफी प्रयास के बाद उसे सुरक्षित बचा लिया। उसके दूसरे दिन ही छात्रों ने फिर विरोध तेज कर दिया और आयुष नाम के छात्र ने कुलपति कार्यालय की छत पर चढ़कर आत्महत्या की कोशिश की। मामला गंभीर देखते हुए अधिकारी भी कॉलेज कैंपस पहुंच गए। एंबुलेंस और फायर ब्रिगेड की टीम भी बुला ली गई।
जानिए, 15 दिन में कब और क्या हुआ
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