आज भैरव अष्टमी है। आज काशी के कोतवाली बाबा कालभैरव का जन्मोत्सव है। जन्मोत्सव पर बाबा कालभैरव को रजत मुखौटा धारण करा कर उनका विशेष श्रृंगार किया गया है और मंदिर की भी खास सजावट की गई है। आज आधी रात बाबा कालभैरव का जन्मोत्सव मनाने के साथ ही उनकी महाआरती की गई।।
साथ ही, रात पंचमेवा से बना हुआ 801 किलो का केक काट कर भक्तों में वितरित किया गया। इस खास अवसर पर बाबा कालभैरव के मंदिर में दर्शन-पूजन के लिए श्रद्धालुओं का सुबह से ही तांता लगा हुआ था। दर्शन-पूजन का यह सिलसिला आधी रात तक जारी रहा।
आज का दिन विशेष पुण्यकारी
बाबा कालभैरव मंदिर के महंत कैलाशनाथ महाराज ने कहा कि भैरव अष्टमी का दिन विशेष पुण्यकारी होता है। आज के दिन बाबा कालभैरव का दर्शन-पूजन करने से सभी प्रकार के कष्ट दूर होते हैं और मनोवांछित फल मिलता है। काशी में भैरवजी का विशेष महत्व है। आज के दिन लोग व्रत रह कर आधी रात बाबा कालभैरव की विशेष पूजा करते हैं। बाबा कालभैरव के दर्शन मात्र से ही सभी प्रकार के पापों से मुक्ति पाते हैं और सुख-शांति मिलती है।
काशी में तीन दिन होता है आयोजन
काशी में भैरव अष्टमी का आयोजन तीन दिन होता है। पहले दिन यानी मंगलवार को बाबा कालभैरव डोले पर सवार होकर नगर भ्रमण के लिए निकले थे। उनके डोले की अगुवाई किन्नरों ने की थी। आज बाबा कालभैरव का जन्मोत्सव मनाया जा रहा है। कल बाबा कालभैरव के मंदिर में भंडारे का आयोजन कर उनके आशीर्वाद के रूप में प्रसाद वितरित किया जाएगा।
अब तस्वीरों में देखिए भैरव अष्टमी पर बाबा कालभैरव मंदिर का दृश्य...
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