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एस्ट्रोनॉमर्स के लिए आज का दिन बहुत ही खास है। आज से ठीक 91 साल पहले 1930 में अमेरिकी वैज्ञानिक क्लाइड टॉमबॉग ने प्लूटो को खोज निकाला। इसे नाम देने की प्रक्रिया भी बेहद खास है। 11वीं की एक स्टूडेंट ने सुझाव दिया कि रोम में अंधेरे का देवता प्लूटो है। यह ग्रह भी अंधेरे में रहता है, इस वजह से इसे भी प्लूटो नाम देना ठीक होगा। खैर, ऐसे नाम तय हो गया और 2006 तक उसे सौरमंडल के नौ ग्रहों में गिना गया।
1992 तक सबकुछ ठीक चल रहा था। इसी बीच, खगोल वैज्ञानिकों में प्लूटो को लेकर बहस जन्म लेने लगी। उनको सौरमंडल के सिरे पर प्लूटो जैसे और भी ऑब्जेक्ट्स मिलने लगे। इससे सवाल उठा कि प्लूटो को ग्रह माना जाए या सौरमंडल के सिरे पर सूर्य का चक्कर लगाने वाले कई बर्फीले ऑब्जेक्ट्स में से एक। कुछ वैज्ञानिकों का कहना था कि प्लूटो बहुत छोटा है। हमारे चांद से भी बहुत छोटा। इसलिए इसे ग्रह नहीं माना जा सकता।
2006 में खगोलीय संरचनाओं को नाम देने वाले ग्रुप इंटरनेशनल एस्ट्रोनॉमिकल यूनियन (IAU) की मीटिंग हुई और इसमें तय हुआ कि किसे ग्रह कहा जाए और किसे नहीं। नई परिभाषा में तय हुआ कि कोई ऐसी खगोलीय संरचना जो सूर्य के गोलाकार मार्ग पर चक्कर लगाए और अपने आसपास की सफाई करती चले। यह जो आखिरी शर्त थी, इसने ही प्लूटो से ग्रह का तमगा छीन लिया। IAU के मुताबिक प्लूटो इतना छोटा है कि वह सूर्य का चक्कर लगाने के दौरान अपने रास्ते में आने वाले पत्थरों और अन्य कचरे को हटा नहीं पाता। तब प्लूटो को ड्वार्फ प्लैनेट यानी बौना ग्रह कहा गया।
लेकिन ऐसा नहीं है कि प्लूटो पर खोज ठहर गई है। अब भी कई वैज्ञानिक यह साबित करने की पूरी कोशिश कर रहे हैं कि प्लूटो ग्रह है, बौना ग्रह नहीं। हाल ही में साइंटिफिक जर्नल इकॉरस (Icarus) में एक रिसर्च पब्लिश हुई। इसमें कहा गया कि प्लूटो को ग्रह से डाउनग्रेड नहीं किया जाना चाहिए था। हर कुछ दिनों में कोई न कोई बयान या स्टडी आ ही जाती है, जो कहती है कि प्लूटो को फिर से ग्रह घोषित किया जाए। एरीजोना की जिस लॉवेल ऑब्जर्वेटरी में क्लाइड टॉमबॉग ने इस ग्रह को खोज निकाला था, उसने तो इस साल भी 13 से 18 फरवरी तक प्लूटो फेस्टिवल मनाया। इसमें वर्चुअल एक्टिविटीज हुईं और कई एस्ट्रोनॉमर्स और वैज्ञानिकों ने दोहराया कि प्लूटो को फिर ग्रह घोषित करने का वक्त आ गया है।
18 फरवरी को देश-दुनिया की अन्य बड़ी घटनाएं-
पॉजिटिव- इस समय ग्रह स्थितियां पूर्णतः अनुकूल है। सम्मानजनक स्थितियां बनेंगी। विद्यार्थियों को कैरियर संबंधी किसी समस्या का समाधान मिलने से उत्साह में वृद्धि होगी। आप अपनी किसी कमजोरी पर भी विजय हासिल...
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