कुलगाम के गोपालपोरा इलाके में मंगलवार सुबह हाई स्कूल टीचर रजनी बाला की आतंकियों ने हत्या कर दी। 36 साल की रजनी को सिर में गोलियां लगी थीं। सांबा की रहने वाली टीचर ने अस्पताल ले जाते वक्त दम तोड़ दिया। 20 दिन में दूसरी हत्या को लेकर कश्मीरी पंडित विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं।
उधर, श्रीनगर में ED के दफ्तर पहुंचे नेशनल कॉन्फ्रेंस प्रमुख फारूक अब्दुल्ला ने रजनी बाला की हत्या किए जाने पर विवादित बयान दिया है। फारूक ने मीडिया के सवाल के जवाब में कहा- अभी मारे जाएंगे सब। ED ने फारूक अब्दुल्ला को जम्मू-कश्मीर क्रिकेट एसोसिएशन (JACA) में हुए कथित घोटाले को लेकर समन जारी किया था।
ग्राम प्रधान ने दी थी पुलिस काे खबर
गोपालपोरा ग्राम प्रधान ने बताया कि घटना सुबह 10 बजे हुई। मैंने देखा कि एक टीचर के सिर में गोली लगी है। एक दूसरे टीचर की मदद से उसे उठाया, इसके बाद मैंने ही पुलिस को सूचना दी। इसके पहले 12 मई को एक कश्मीरी पंडित राहुल भट की भी आतंकियों ने उसके ऑफिस में घुसकर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी।
खबर पढ़ने से पहले इस मामले पर अपनी राय जरूर बताएं....
उमर अब्दुल्ला बोले-निंदा और शोक जैसे शब्द खोखले
नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता उमर अब्दुल्ला ने इस घटना पर दुख व्यक्त किया है। उन्होंने कहा, 'बहुत दुख की बात है। यह निहत्थे नागरिकों की टारगेट किलिंग की लिस्ट में जुड़ा एक और हमला है। जब तक सरकार हालात सामान्य होने का आश्वासन नहीं देती तब तक निंदा और शोक जैसे शब्द खोखले हैं। हम चैन से नहीं बैठेंगे।'
आर्टिकल 370 हटने के बाद 4 कश्मीरी पंडितों समेत 14 हिंदुओं की हत्या
कश्मीर में टारगेट किलिंग अक्टूबर में शुरू हुईं। यहां पांच दिनों में सात नागरिक मारे गए इनमें एक कश्मीरी पंडित, एक सिख और प्रवासी हिंदू शामिल हैं, जो नौकरी की तलाश में आए थे। 14 अप्रैल को आतंकियों ने सतीश कुमार की गोली मारकर हत्या कर दी थी। इससे पहले शनिवार को आतंकियों ने अली जान रोड स्थित ऐवा ब्रिज पर पुलिसकर्मी की गोली मारकर हत्या कर दी थी।
अब राहुल की हत्या के बाद कश्मीरी पंडितों की सुरक्षा पर फिर से सवाल खड़ा हो गया है। कश्मीर में आर्टिकल 370 हटने के बाद 4 कश्मीरी पंडितों समेत 14 हिंदू आतंकी हमलों में मारे गए। गृह मंत्रालय ने संसद में इसकी जानकारी दी थी।
घाटी में 18 दिन से चल रहा कश्मीरी पंडितों का आंदोलन
कश्मीरी पंडितों का घाटी में 18 दिन से आंदोलन चल रहा है। प्रधानमंत्री रोजगार पैकेज के तहत नौकरी पाने वाले पंडित काम का बहिष्कार कर प्रदर्शन कर रहे हैं। घाटी में सबसे लंबे समय तक चलने वाला ये प्रदर्शन बन चुका है। रेवन्यू विभाग के कर्मचारी राहुल भट की हत्या के बाद प्रदर्शन शुरू हुआ था। काम करने वाले कश्मीरी पंडितों की मांग है कि हमें कश्मीर के बाहर पोस्टिंग दी जाए।
प्रदर्शनकारी कश्मीरी पंडित बोले- हमें कश्मीर से शिफ्ट करो
प्रधानमंत्री रोजगार पैकेज के तहत नौकरी पाने वाले पंडित काम का बहिष्कार कर प्रदर्शन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि हम कैदियों जैसी जिंदगी नहीं जीना चाहते, इसीलिए हमें कश्मीर से शिफ्ट करो। LG, उनके सलाहकार, IGP और अन्य अफसरों ने सड़क पर बैठे कश्मीरी पंडितों से कई बार बातचीत कर चुके हैं, लेकिन इसके बावजूद पंडितों का विरोध जारी है। पढ़ें पूरी खबर...
राहुल भट की हत्या के विरोध में सिर मुंडवाकर किया था प्रदर्शन
कश्मीर में आतंकी हमले में मारे गए राहुल भट की हत्या के 10वें दिन अनंतनाग जिले के कश्मीरी पंडितों ने सिर मुंडवा कर प्रदर्शन किया था। उन्होंने राहुल भट की आत्मा की शांति के लिए प्रार्थना भी की। साथ ही मांग की है कि उन्हें घाटी में सुरक्षा दी जाए या फिर उनकी पोस्टिंग जम्मू कर दी जाए।
Copyright © 2023-24 DB Corp ltd., All Rights Reserved
This website follows the DNPA Code of Ethics.