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इस साल सामान्य रहेगा मानसून:मौसम विभाग ने कहा- 4 जून तक केरल पहुंचने की संभावना, उत्तर-पश्चिम भारत में कम बारिश के आसार

नई दिल्ली10 दिन पहले
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भारतीय मौसम विभाग (IMD) ने शुक्रवार को अच्छी खबर दी। IMD के डॉ. पीएस पई ने कहा कि अलनीनो कंडीशन के बावजूद इस साल मानसून सामान्य रहेगा। इसके 1 जून से पहले केरल पहुंचने की संभावना नहीं है। मौसम विभाग का अनुमान है कि मानसून 4 जून को केरल के तटों से टकराएगा।

डॉ. डीएस पई ने शुक्रवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया कि अरब सागर में अगले सप्ताह किसी तूफान की संभावना नहीं है। अगर देश में सभी जगह बारिश सही हुई तो काफी अच्छा रहेगा। खेती पर बहुत ज्यादा असर नहीं पड़ेगा।

पई ने कहा कि लॉन्ग पीरियड ऐवरेज (LPA) में 96% से 104% बारिश की उम्मीद है। अभी के लिहाज से देखा जाए तो उत्तर-पश्चिम भारत में सामान्य से कम बारिश की उम्मीद है। इस दौरान LPA 92% रहने के आसार हैं।

मौसम विभाग ने बताया कि जून से सितंबर तक चलने वाले दक्षिण-पश्चिम मानसून के दौरान जून में सामान्य से कम वर्षा का अनुमान है। उत्तर-पश्चिम, उत्तर और उत्तर-पूर्व भारत के कुछ इलाकों में सामान्य से ज्यादा बारिश हो सकती है।

5 राज्यों में कम बारिश के आसार
IMD के मुताबिक, पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, पश्चिमी उत्तर प्रदेश और राजस्थान में पूरे मानसून के दौरान 92% बारिश के आसार हैं यानी सामान्य से कम। बाकिस हिस्सी में सामान्य और सामान्य से ज्यादा बारिश का अनुमान है।

उत्तर भारत में प्री-मानसून, दिल्ली और आसपास राहत
IMD ने कहा, "वेस्टर्न डिस्टर्बेंस के चलते हमें बारिश और आंधी जैसी प्री-मानसून कंडीशन दिखाई दे ही हैं। इसके चलते ही हमें दिल्ली और उसके आसपास के शहरों के मौसम में राहत दिखाई दे रही है।"

IMD ने पिछले साल 27 मई को मानसून के आने का अनुमान जाहिर किया था, लेकिन यह 2 दिन लेट 29 मई को तटों से टकराया। पिछले 2005 से 2022 तक IMD ने मानसून के जो अनुमान जाहिर किए, वह सही साबित हुए। केवल 2015 में अनुमान गलत साबित हुआ था।

मानसून कृषि के लिहाज से खराब होने पर सूखा वर्ष घोषित होता है, जानिए कैसे?

मौसम विभाग के अनुसार जिस वर्ष देश में बारिश की कमी 10% हो तो उसे सूखा वर्ष माना जाता है। इसके अलावा, जिस साल देश के 20 से 40% हिस्से में 10% कम बारिश होती है तो उसे अखिल भारतीय सूखा वर्ष माना जाता है। जिस साल देश के 40% से ज्यादा हिस्से में 10% से कम वर्षा हो तो वह अखिल भारतीय गंभीर सूखा वर्ष होता है।

सामान्य तौर पर सूखा तीन तरह का होता है। 1. मौसम आधारित सूखा (मेटरियोलॉजिकल): जब बारिश की कमी पर निर्भर होता है। 2. जलीय सूखा (हाइड्रोलॉजिकल): जब सतह और उपसतह पर पानी की सप्लाई प्रभावित होती है। जिससे सिंचाई के पानी की व्यवस्था नहीं हो पाती है। 3. कृषि सूखा (एग्रीकल्चरल): जब लगातार चार सप्ताह तक बारिश की कमी हो तो उसे कृषि सूखा कहते हैं। कृषि क्षेत्रों पर सबसे ज्यादा मार इसी की पड़ती है।

17 साल बाद नौतपा के पहले दिन सबसे कम तापमान
गुरुवार से शुरू हुए नौतपा के पहले दिन गर्मी के तेवर ठंडे रहे। बुधवार के मुकाबले गुरुवार को पारा 2.9 डिग्री लुढ़ककर 38.8 डिग्री पर आ गया। 23 साल में यह छठा मौका है, जब नौतपा के पहले दिन तापमान 40 डिग्री से कम रहा। इसके अलावा 17 साल बाद नौतपा के पहले दिन का यह सबसे कम तापमान है। इससे पहले 2006 में नौतपा के पहले दिन तापमान 35.9 डिग्री दर्ज किया गया था। इससे पहले 2000, 2006, 2014, 2021 और 2022 में भी 40 डिग्री से नीचे पारा था। 2000 में भी नौतपा के पहले दिन तापमान 38.80 रहा था।

ये तस्वीर कर्तव्य पथ की है... शाम को हल्की बूंदा-बंदी के बीच यहां मौसम सुहाना हो गया।
ये तस्वीर कर्तव्य पथ की है... शाम को हल्की बूंदा-बंदी के बीच यहां मौसम सुहाना हो गया।

राज्यों में मौसम का हाल...

दिल्ली: दो दिन तक आंधी-बारिश की संभावना
दिल्ली में गुरुवार शाम तेज ठंडी हवाओं और चमकती बिजली के बीच हुई बारिश ने मौसम का मिजाज बदल दिया। इसकी वजह से दिल्ली के तापमान में 8 डिग्री सेल्सियस की गिरावट दर्ज की गई है। सुबह से ही कई इलाकों में काले-घने बादल छाए हुए थे।

देश की राजधानी में अगले दो दिनों तक आंधी और बारिश हो सकती है। मौसम विभाग का अनुमान है कि ऐसी स्थिति 29 मई तक बनी रह सकती है। बताया जा रहा है कि दिल्ली में मौसम खराब होने की वजह से विस्तारा एयरलाइंस की मुंबई से दिल्ली जाने वाली फ्लाइट को जयपुर के लिए डाईवर्ट कर दिया गया।

राजस्थान: जयपुर देर रात बारिश हुई, 100 से ज्यादा कॉलोनियों में बत्ती गुल
जयपुर में गुरुवार को 96KM की रफ्तार से आए तूफान के चलते पूरे शहर में पेड़ गिरने से करीब 2 हजार से अधिक वाहनों को नुकसान पहुंचा। इस दौरान 11 केवीए के 20 फीडर बंद हो गए और 100 से ज्यादा कॉलोनियों में बिजली सप्लाई ठप हो गई।

इससे पहले चूरू, नागौर, सीकर जिलों में भारी बारिश हुई। चूरू के बीदासर में ताे 4.8 इंच जबकि सीकर के धोद में 5 इंच बारिश रिकाॅर्ड की गई। जयपुर, बीकानेर, भरतपुर, कोटा में हल्की से मध्यम दर्जे की बारिश हो सकती है। कुछ स्थानों पर ओलावृष्टि की भी संभावना है।

शहर में एक बस डिवाइडर से टकरा गई। इसमें बैठे कई लोग घायल हो गए।
शहर में एक बस डिवाइडर से टकरा गई। इसमें बैठे कई लोग घायल हो गए।

पूरे शहर में पेड़ गिरने से करीब 2000 से अधिक वाहन क्षतिग्रस्त हुए। वैशाली नगर, बनीपार्क, झोटवाड़ा, प्रताप नगर, सी-स्कीम, मालवीय नगर, मानसरोवर, आदर्श नगर, जवाहर नगर, जगतपुरा व परकोटे के कई इलाकों में बिजली के तार टूटने से अंधेरा हो गया। जयपुर के बाहरी क्षेत्र अजमेर रोड, भांकरोटा, कालवाड़ रोड व सीकर रोड पर दस-दस किमी का एरिया में अंधेरा हो गया।

जयपुर में तेज आंधी और बारिश के चलते पेड़ गिरने से करीब 2000 से अधिक वाहन क्षतिग्रस्त हो गए।
जयपुर में तेज आंधी और बारिश के चलते पेड़ गिरने से करीब 2000 से अधिक वाहन क्षतिग्रस्त हो गए।

4 फ्लाइट डायवर्ट, 3 की लैंडिंग अटकी
खराब मौसम से दिल्ली में विमानों की लैंडिंग नहीं हो सकी। विस्तारा की मुंबई-दिल्ली, इंडिगो की बेंगलुरु-दिल्ली, एयर इंडिया की राजकोट-दिल्ली फ्लाइट और विशाखापट्टनम-दिल्ली फ्लाइट को जयपुर डायवर्ट हुई। इंडिगो की हैदराबाद-जयपुर फ्लाइट, अहमदाबाद-जयपुर फ्लाइट और एयर इंडिया की मदीना से जयपुर फ्लाइट की लैंडिंग नहीं हुई।

झारखंड: रांची में चली धूल भरी आंधी, राज्य में ठनके से 5 मौतें
रांची में गुरुवार की सुबह तेज धूप खिली, लेकिन दोपहर आते-आते आसमान में बादल छा गए। दोपहर तीन बजे के बीच 40 से 50 किमी की स्पीड से चली हवा से मोरहाबादी सहित कई इलाके धूल से सन गए। कई इलाकों में तेज हवा के साथ रिमझिम बारिश भी हुई है। ऐसा मौसम 30 से 45 मिनट तक रहा।

वहीं, ठनका गिरने से पलामू में दो मजदूरों और चतरा में एक व्यक्ति की जान चली गई। खूंटी के मारंगहादा में भी 17 साल के किशोर की मौत हो गई। तीन लोग घायल भी हुए हैं। इधर, इचाक में तेज हवा से दीवार गिर गई। इसमें दबकर बच्ची की मौत हो गई।